ज्योतिष शास्त्र में सूर्य ग्रहण की घटना को काफी महत्व दिया गया है. सूर्य ग्रहण एक ऐसी घटना है, जिसका असर पूरी दुनिया के साथ-साथ व्यक्ति और उसकी राशियों पर भी पड़ता है. साल का आखिरी सूर्य ग्रहण कई मायनों में खास होने वाला है. आपको बता दें कि वर्ष 2021 में चार ग्रहण का योग बना है. जिसमें से दो ग्रहण लग चुके हैं. इस वर्ष दो चंद्र ग्रहण और दो ही सूर्य ग्रहण का योग बना है. चंद्र ग्रहण जहां लग चुका वहीं अब सूर्य ग्रहण लगना बाकी है. साल का आखिरी ग्रहण, सूर्य ग्रहण के रूप में लगेगा. ये कब लगेगा आइये जानते हैं.
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सूर्य ग्रहण-
हिन्दू पंचांग की गणना के अनुसार 04 दिसंबर 2021 को सूर्य ग्रहण लगेगा. इस दिन मार्गशीष मास की कृष्ण पक्ष की अमावस्या तिथि है. साल के आखिरी सूर्य ग्रहण का प्रभाव अंटार्कटिका, ऑस्ट्रेलिया और दक्षिण अमेरिका पर ज्यादा देखने को मिलेगा. सूर्य ग्रहण का प्रभाव इस बार कुछ राशियों पर ज्यादा देखने को मिलेगा. इन सब में मेष राशि से लेकर मीन राशि शामिल है. साल का पहला सूर्य ग्रहण 10 जून 2021 को लगा था. अब साल का आखिरी सूर्य ग्रहण 4 दिसंबर को लगेगा.
सूतक काल
सूर्य ग्रहण के दौरान सूतक काल का विशेष महत्व है, लेकिन इस बार सूर्य ग्रहण के दौरान सूतक के नियमों का पालन नहीं किया जाएगा. साल का आखिरी सूर्य ग्रहण उपछाया है, जब पूरे सूर्य ग्रहण की स्थिति बनती है तभी सूतक के नियमों का पालन किया जाता है. पूर्ण सूर्य ग्रहण के दौरान 12 घंटे पूर्व से सूतक काल शुरू होता है. सूतक काल में मंदिरों के कपाट बंद कर दिए जाते हैं, इस दौरान विशेष सावधानी बरतने की सलाह दी जाती है. इस समय बाहर निकलने को भी मना किया जाता है और कोई भी शुभ काम नहीं किया जाता.
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ग्रहण के समय ग्रहों की स्थिति-
ग्रहों की बात करें तो राहु केतु इन दो ग्रहों को मायावी ग्रह बताया गया है. सूर्य ग्रहण के ठीक अगले दिन यानी 5 दिसंबर को मंगल ग्रह का वृश्चिक राशि में गोचर होगा. यानी मंगल ग्रह अपनी राशि बदलेंगे. इस दौरान चंद्रमा और बुध अस्त रहेंगे. जबकि राहु और केतु वक्री रहेंगे. कथाओं के अनुसार राहु केतु ही ग्रहण की स्थिति बनाते है.