CCPA Will Tighten App Based Cab Service Companies: एक तरफ पेट्रोल- डीजल के बढ़े हुए दाम हैं तो दूसरी तरह कैब कंपनियों की मनमानी दोनो ही स्थितियों में आम आदमी की जेब ढ़ीली हो रही है. अगर आप भी घर से बाहर निकलने पर कैब सर्विस( Cab Service) का इस्तेमाल करते हैं तो यह खबर आपके लिए ही लिखी जा रही है. अगर आप भी कैब सर्विस के लिए ओला (Ola Cabs) या उबर (Uber) ऐप बेस्ड कैब सर्विस का इस्तेमाल करते हैं तो आपने भी ये मनमानी झेलनी होगी. कैब बुक करने के बाद अचानक कैंसिल होने का झटका आपको भी कई बार लगा होगा. इससे भी ज्यादा ठगा हुआ महसूस होता है जब जरूरत ना पड़ने पर कैब सर्विस ( Cab Service) को कैंसिल किया जाए और इस पर भी कंपनी पैसों की चपत लगा देती है.
सरकार ने कसी नकेल
दरअसल पिछले कुछ समय से सरकार (central consumer protection authority) को ऐप बेस्ड टैक्सी सर्विस देने वाली कंपनियों के खिलाफ शिकायतें मिल रही थी, जिस पर कंज्यूमर कोर्ट (central consumer protection authority) ने अब संज्ञान लिया है. इसके लिए कैब कंपनियों को तलब किया गया है. सरकार मंगलवार को बैठक करेगी जिसके बाद ओला (Ola Cabs) उबर (Uber) कंपनियों की गलत हरकत पर सरकार की नजरें रहेंगी.
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राइड कैंसिल करना पड़ेगा भारी
मंगलवार को कैब कंपनियों के कामकाज को लेकर समीक्षा की जाएगी. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक इस बैठक में किराया तय करने और राइड कैंसिल करने की जानकारी ली जाएगी. सीसीपीए (central consumer protection authority) के कमिश्नर अनुपम मिश्र ने बताया कि ग्राहकों की शिकायतें मिलती हैं. इन शिकायतों में बताया जाता है कि कैब कंपनिया एक ही समय और एक ही डेस्टीनेशन के लिए अलग- अलग लोगों को अलग- अलग किराया दिखाते हैं. इसके साथ ही बुकिंग कैंसिल होने और पेनाल्टी पर भी बात की जाएगी.
HIGHLIGHTS
- CCPA ने कैब कंपनियों को तलब किया है
- किराया तय करने और पेनाल्टी पर बात होगी
- CCPA की मंगलवार को कैब कंपनियों के साथ मीटिंग