केंद्र सरकार ने सड़क पर आवागमन को सुरक्षित और सुविधाजनक बनाए रखने के लिए यातायात के नियमों को काफी सख्त कर दिए हैं. मोटर वाहन अधिनियम (Motor Vehicle Act) में चालान की राशि में भी भारी बढ़ोतरी कर दी गई है. इसके अलावा सड़क पर अनुशासन बनाए रखने के लिए भी नए प्रावधान लागू कर दिए गए हैं. नए नियमों के मुताबिक आपके पास भले ही गाड़ी के वैध डॉक्यूमेंट, ड्राइविंग लाइसेंस और इंश्योरेंस हो, लेकिन अगर आपने जिम्मेदार नागरिक होने का कर्तव्य नहीं निभाया तो आपको मोटा जुर्माना भरना पड़ सकता है. गैर जिम्मेदार वाहन चालकों को 10 हजार रुपये तक का जुर्माना भरना पड़ेगा और 6 महीने तक की जेल भी हो सकती है.
यह भी पढ़ें: Mercedes Benz India की बिक्री में पहली तिमाही में आया उछाल
नए मोटर वाहन अधिनियम में एक नई धारा 194E को जोड़ा गया
दरअसल, नए मोटर वाहन अधिनियम में एक नई धारा 194E को जोड़ा गया है. इस धारा के तहत एमरजेंसी वाहन जैसे एंबुलेंस आदि को रास्ता नहीं देने या फिर अवरोध पैदा करने पर वाहन चालक को महंगा पड़ सकता है. ऐसे वाहन चालकों के ऊपर ट्रैफिक पुलिस 10 हजार रुपये का जुर्माना ठोक सकती है. साथ ही वाहन चालकों को 6 महीने तक जेल की सजा भी हो सकती है या फिर जुर्माने के साथ जेल भी जाना पड़ सकता है. बता दें कि पुराने मोटर व्हीकल एक्ट में इसके लिए किसी भी तरह के जुर्माने और सजा का प्रावधान नहीं था. ऐसे में अब अगर आप सड़क पर चल रहे हों और किसी इमरजेंसी वाहन की आवाज सुनें तो उस वाहन को तुरंत रास्ता दे दीजिए.
गौरतलब है कि दुर्घटना के दौरान पीड़ित के लिए सबसे अहम समय होता है. अक्सर देखा गया है कि आपातकालीन स्थिति में भी एंबुलेंस को सड़क पर रास्ता नहीं मिल पाता है और उसे कई बार जाम का भी सामना करना पड़ता है. इसके अलावा कई बार वाहन चालक जानबूझकर भी इमरजेंसी वाहनों को रास्ता नहीं देते हैं जो कि नैतिक रूप से उचित नहीं है. इन्हीं सब चीजों को देखते हुए नए मोटर वाहन अधिनियम में जुर्माने के साथ जेल की सजा का प्रावधान किया गया है.
HIGHLIGHTS
- 10 हजार रुपये तक का जुर्माना और 6 महीने तक की जेल भी हो सकती है
- नए मोटर वाहन अधिनियम में एक नई धारा 194E को जोड़ा गया है