भारत का सोयामील (Soyameal) निर्यात पिछले साल के मुकाबले तीन गुना हो गया है और जोरदार वैश्विक मांग होने के कारण पूरे सीजन के दौरान कुल निर्यात 18 लाख टन होने का अनुमान है. खाने के तेल में वैश्विक स्तर पर आई तेजी और सोयामील के निर्यात में इजाफा होने से सोयाबीन (Soybean) का भाव एमएसपी से 1,500 रुपये प्रति क्विंटल ऊंचा हो गया है. खाद्य तेल उद्योग संगठन सोयाबीन प्रोसेसर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया (Soybean Processors Association of India-SOPA) की ओर से जारी ताजा आकलन के मुताबिक, चालू सीजन में अक्टूबर से लेकर फरवरी के आखिर तक 14.35 लाख टन सोयामील यानी सोयाबीन ऑयलमील का निर्यात हो चुका है, जबकि पिछले सीजन की इसी अवधि के दौरान सोयामील का निर्यात 3.65 लाख टन हुआ था. सोपा के एग्जिक्यूटिव डायरेक्टर डॉ. डी.एन. पाठक ने बताया कि सीजन के आखिर तक सोयामील का निर्यात 18 से 20 लाख टन होने का अनुमान है, जबकि पिछले सीजन में आठ लाख टन सोयमील का निर्यात हुआ था.
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सोपा के आकलन के अनुसार, देश में चालू सीजन में सोयाबीन का उत्पादन 104.55 लाख टन है, जबकि पिछला स्टॉक 5.16 लाख टन और आयात तीन लाख टन को मिलाकर कुल आपूर्ति 112.71 लाख टन रहने का अनुमान है, जबकि पिछले साल कुल आपूर्ति 101.96 लाख टन थी, जिसमें उत्पादन 93.06 लाख टन और आयात 5.20 लाख टन के साथ-साथ बकाया स्टॉक 1.70 लाख टन था. देश में चालू खरीफ सीजन 2020-21 में सोयाबीन के उत्पादन में इजाफा होने से कुल आपूर्ति में करीब 19 फीसदी की वृद्धि होने के बावजूद किसानों को फसल का दाम मिला.
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सोयाबीन का एमएसपी 3,880 रुपये प्रतिक्विंटल है, जबकि घरेलू बाजार में सोयाबीन 5,400-5,500 रुपये प्रतिक्विंटल बिक रहा है. तेल बाजार विशेषज्ञ बताते हैं कि तमाम तेल व तिलहनों के दाम में तेजी आई है, जिसका सहारा सोयाबीन को भी मिला है.
इनपुट आईएएनएस
HIGHLIGHTS
- जोरदार वैश्विक मांग होने के कारण पूरे सीजन के दौरान कुल निर्यात 18 लाख टन होने का अनुमान
- सोयामील के निर्यात में इजाफा होने से सोयाबीन का भाव एमएसपी से 1,500 रुपये प्रति क्विंटल ऊंचा