केंद्रीय मंत्रिमंडल ने बुधवार को जमा बीमा और ऋण गारंटी निगम विधेयक, 2021 को मंजूरी दे दी, जिसमें छोटे जमाकर्ताओं को उनकी जीवनभर की बचत पर गारंटी प्रदान कर राहत देने का प्रस्ताव है।
वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण के अनुसार, बिल प्रत्येक जमाकर्ता की बैंक जमा राशि पर मूलधन और ब्याज दोनों में बीमा राशि को बढ़ाकर 5 लाख रुपये कर देगा।
बीमित राशि को 1 लाख रुपये से बढ़ाकर 5 लाख रुपये करने पर सभी जमा खातों का 98.3 प्रतिशत और जमा मूल्य का 50.9 प्रतिशत शामिल होगा। उन्होंने कहा, यह अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर प्रदान किए जाने वाले कवर से अधिक है, जो कि जमा खातों का लगभग 80 प्रतिशत और जमा मूल्य का 20-30 प्रतिशत है।
वित्तमंत्री ने कहा, हमने डिपॉजिट इंश्योरेंस क्रेडिट गारंटी कॉर्पोरेशन को मंजूरी दे दी है, जो कि आरबीआई द्वारा बैंकों पर स्थगन लागू करने के बाद लोगों को कठिनाइयों का सामना करने के लिए बनाया गया था।
अधिनियम के तहत गारंटीकृत राशि उन क्षेत्रों सहित सभी बैंकों और वित्तीय संस्थानों के जमाकर्ताओं के लिए उपलब्ध होगी, जहां बैंक स्थगन में चला गया है।
साथ ही, नया बिल बीमित जमा राशि को साफ करने के लिए एक समयबद्ध प्रक्रिया प्रदान करेगा। इसे 90 दिनों के भीतर साफ करना होगा, भले ही बैंक किसी प्रस्ताव के दौर से गुजर रहा हो या परिसमापन के लिए जा रहा हो।
जमा बीमा कार्यक्रम के तहत जमाकर्ताओं के एक बड़े वर्ग को कवर करने के लिए नए बिल के तहत विभिन्न परिभाषाओं को भी बदला जाएगा।
सीतारमण ने कहा कि इस कवर को देने के लिए लिया जाने वाला प्रीमियम इस समय प्रत्येक 100 रुपये जमा के लिए 10 पैसे है। इसे अभी बढ़ाकर 12 पैसे किया जा रहा है और इसमें और बदलाव किया जा सकता है, लेकिन एक सीमा के भीतर आरबीआई और वित्त मंत्रालय की सहमति से।
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Source : IANS