Coronavirus (Covid-19): अमेरिकी राष्ट्रपति (US President) डोनाल्ड ट्रंप (Donald Trump) ने चीन के साथ व्यापार समझौते (US China Trade Deal) पर फिर बातचीत करने से इनकार कर दिया है और साथ ही उन्होंने कोरोना वायरस महामारी (Coronavirus Epidemic) से निपटने के बीजिंग के तरीके पर निराशा व्यक्त की है. कोरोना वायरस से दुनिया भर में तीन लाख से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है, जिसमें से 80,000 सिर्फ अमेरिका से हैं.
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अमेरिका और चीन ने इस साल की शुरुआत में व्यापार समझौते के पहले चरण पर दस्तखत किए थे, जिसके साथ माना गया कि दो साल से चल रहे व्यापार युद्ध का अंत हो गया. ट्रंप ने गुरुवार को फॉक्स न्यूज को बताया था चीन ने कहीं कहा है कि वे (व्यापार) समझौते पर फिर बातचीत करना चाहते हैं. हम फिर से बातचीत नहीं करेंगे. उन्होंने कहा कि देखिए, मैं फिलहाल उस बारे में (चीन) कुछ भी करने का इच्छुक नहीं हूं. मैंने जो भी कहा वह सही निकाला. आप दूसरे देशों को देखिए, वे व्यापार करने के लिए शुल्क लेते हैं और हमें उनसे शुल्क लेने की इजाजत नहीं है.
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एक सवाल के जवाब में ट्रंप ने कहा कि चीन ने हमेशा अमेरिका से बौद्धिक संपदा (आईपी) की चोरी की है. उन्होंने कहा कि उन्हें कभी टोका नहीं गया. अब उन्हें टोका जा रहा है. ट्रंप ने कहा कि वह अभी चीन के राष्ट्रपित शी पिछले कई हफ्तों से ट्रंप पर चीन के खिलाफ कार्रवाई करने का दबाव बढ़ रहा है. सांसदों और विचारकों का कहना है कि चीन की निष्क्रियता की वजह से वुहान से दुनियाभर में कोरोना वायरस फैला है. एक सवाल के जवाब में ट्रंप ने कहा कि वह चीनी राष्ट्रपति शी चिनफिंग से फिलहाल बात नहीं करना चाहते हैं. हालांकि उनके चिनफिंग से अच्छे रिश्ते हैं. ट्रंप ने कहा कि चीन ने उन्हें निराश किया है. उन्होंने यह भी कहा कि अमेरिका ने चीन से बार-बार कहा कि कोरोना वायरस की उत्पत्ति की जांच के लिए अंतरराष्ट्रीय समुदाय को वुहान की प्रयोगशाला जाने की इजाजत दी जाए, लेकिन उसने इसे नहीं माना.