Coronavirus (Covid-19): जापान के मंत्रिमंडल ने 32,000 अरब येन (296 अरब डॉलर) (Covid-19 Relief Package) के अनुपूरक बजट को बुधवार को मंजूरी दे दी. यह बजट कोविड-19 संकट (Coronavirus Epidemic) से जापान की अर्थव्यवस्था (Japan's Economy) को बचाने के लिए 1,100 अरब डॉलर का कोष बनाने में मदद करेगा. इस अतिरिक्त कोष से छोटे कारोबारों को बचाने, चिकित्सा सेवाओं को बेहतर बनाने और स्थानीय निकायों को सब्सिडी देने में मदद मिलेगी. यह कोष भविष्य में किसी तरह की संक्रामक बीमारियों से निपटने की तैयारी के लिए भी वित्तपोषण करेगा.
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जापान ने अबतक 2,100 अरब डॉलर के राहत पैकेज का ऐलान किया
दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था जापान को पिछली तिमाही से मंदी का सामना करना पड़ रहा है. यह कोविड-19 महामारी (Corona Pandemic) के फैलने से पहले से नरमी की मार झेल रही थी. प्रधानमंत्री शिंजो आबे (Shinzo Abe) ने बुधवार को अधिकारियों के साथ बैठक में कहा कि कुल प्रोत्साहन पैकेज 2,30,000 अरब येन (2,100 अरब डॉलर) का होगा. यह जापान की अर्थव्यवस्था के करीब 40 प्रतिशत के बराबर है. उन्होंने कहा कि वह देश की अर्थव्यवस्था को किसी भी कीमत पर इस मौजूदा संकट से बचाएंगे जो सदियों में एक बार आता है.
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जापान, चीन, यूरोपीय संघ, रूस से रबड़ आयात पर डंपिंगरोधी शुल्क लगा सकता है भारत
भारत सरकार चीन, यूरोपीय संघ, जापान और रूस से रबड़ के आयात पर डंपिंगरोधी शुल्क लगा सकती है. इस संबंध में घरेलू रबड़ उत्पादक ने वाणिज्य मंत्रालय से इन देशों से रबड़ के डंपिंग करने की शिकायत की है. एप्कोटेक्स इंडस्ट्रीज लिमिटेड ने व्यापार उपचार महानिदेशालय (डीजीटीआर) से इन देशों द्वारा ‘एक्रीलोनिट्राइल बुटाडीन रबड़’ के डंपिंग की शिकायत की थी. डीजीटीआर, वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय के तहत काम करने वाला निकाय है। यह डंपिंगरोधी मामलों की जांच कर शुल्क लगाने की सिफारिश मंत्रालय को भेजता है. मंत्रालय उसे वित्त मंत्रालय को भेज देता है जो डंपिंग रोधी शुल्क लगाने पर अंतिम निर्णय लेता है.