नरेंद्र मोदी सरकार पर 'आर्थिक कुप्रबंधन' का आरोप लगाते हुए पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने कहा कि देश 'कठिन समय' से गुजर रहा है।
बेंगलुरू में प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए सिंह ने कहा कि देश की अर्थव्यवस्था अपनी 'क्षमता' से 'कमजोर' गति से आगे बढ़ रही है और सरकार की खराब नीति ने इसे बर्बाद कर दिया है।
उन्होंने कहा कि देश 'कठिन समय' से गुजर रहा है और हमारे किसान गंभीर संकट का सामना कर रहे हैं। सिंह ने कहा कि दुर्भाग्य की बात यह है कि देश में मौजूद इन 'संकटों' को आने से रोका जा सकता था।
बैंकिंग व्यवस्था को लेकर मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए उन्होंने कहा कि मोदी सरकार के आर्थिक 'कुप्रबंधन' से बैंकिंग सिस्टम पर से लोगों का भरोसा उठता जा रहा है।
उन्होंने कहा, 'स्वस्थ बैंकिंग व्यवस्था, अर्थव्यवस्था की जरूरत होती है और आज की स्थिति यह है कि न तो आज बैंक लोन दे रहे हैं और नहीं निजी सेक्टर कर्ज ले रहे हैं। अर्थव्यवस्था की विकास की गति रुक गई है।'
उन्होंने कहा कि देश की आर्थिक नीति का असर लोगों की रोजमर्रा की जिंदगी पर होता है और इसलिए जो इस तरह की नीतियों को बनाते हैं, उन्हें गंभीरता से काम करना होता है और वह इस बात का दावा नहीं कर सकते कि उन्हें सब कुछ पता है।
सिंह ने कहा, 'भारत एक जटिल और विविध समुदाय है और कोई एक व्यक्ति सब कुछ जानने का दावा नहीं कर सकता।'
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यूपीए के समय की आर्थिक वृद्धि का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि हमारी सरकार ने खराब वैश्विक स्थितियों के बावजूद 7.8 फीसदी की ग्रोथ रेट दी लेकिन एनडीए (राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन) माकूल वैश्विक परिस्थितियों और सस्ते कच्चे तेल के बावजूद उम्मीद के मुताबिक अर्थव्यवस्था को आगे बढ़ाने में नाकाम रही है।
पूर्व प्रधानमंत्री ने कहा, 'वास्तव में एनडीए के दौरान ग्रोथ रेट कम रही है जबकि उन्होंने गणना करने के तरीके में भी बदलाव कर दिया, जो वास्तविकता के मुकाबले ज्यादा गुलाबी तस्वीर पेश करता है।'
सिंह ने कहा कि देश में पेट्रोल और डीजल की कीमतें ऐतिहासिक रूप से ऊंचाई पर है जबकि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कच्चे तेल की कीमतें निम्नतम स्तर पर है लेकिन इसका फायदा आम लोगों को नहीं दिया गया।
उन्होंने कहा कि मोदी सरकार ने उल्टे पेट्रोलियम उत्पादों पर लगने वाले उत्पाद शुल्क में बढ़ोतरी कर दी।
सिंह ने कहा, 'कच्चे तेल की कम कीमतों का लोगों को फायदा देने की बजाए मोदी सरकार ने लोगों को दंडित करने का काम किया। वहीं हमने महंगे कच्चे तेल की कीमतों के समय लोगों पर उसका असर नहीं होने दिया।'
पूर्व प्रधानमंत्री ने कहा, 'जब से मोदी सरकार सत्ता में आई है, कच्चे तेल की कीमतों में 67 फीसदी की गिरावट आई है लेकिन पेट्रोल और डीजल की कीमतों में 110 फीसदी की तेजी आई है।'
मोदी सरकार पर बड़ा आरोप लगाते हुए सिंह ने कहा कि लगातार किए जा रहे टैक्स में बढ़ोतरी की वजह से आम आदमी प्रभावित हुआ है और सरकार को इससे करीब 10 लाख करोड़ रुपये से अधिक की आय हुई है।
उन्होंने कहा, 'भारत यह जानना चाहता है कि इन पैसों का इस्तेमाल कहां किया गया?'
सिंह ने एक बार फिर से नोटबंदी और हड़बड़ी में लागू किए गए जीएसटी (गुड्स एंड सर्विसेज टैक्स) का मुद्दा उठाते हुए कहा कि सरकार इन गलतियों को रोक सकती थी, लेकिन उसने ऐसा नहीं किया।
उन्होंने कहा कि सरकार के इस फैसले से जहां जीडीपी में निर्यात की भागीदारी 14 सालों के निचले स्तर पर चली गई वहीं वैश्विक अर्थव्यवस्था में वियतनाम जैसी एशियाई अर्थव्यवस्था की तरफ से किए जाने वाले निर्यात में भारी बढ़ोतरी हुई।
मोदी पर प्रधानमंत्री कार्यालय के राजनीतिकरण का आरोप लगाते हुए सिंह ने कहा कि देश में किसी भी प्रधानमंत्री ने पीएमओ का इस्तेमाल करते हुए विपक्ष के लिए ऐसी भाषा का इस्तेमाल नहीं किया, लेकिन मोदी यह काम लगातार कर रहे हैं।
उन्होंने कहा, 'यह प्रधानमंत्री मोदी को शोभा नहीं देता है और नहीं यह देश के लिए ठीक है।'
गौरतलब है कि कर्नाटक विधानसभा के चुनाव को लेकर बीजेपी और कांग्रेस के बीच घमासान की स्थिति है। बीजेपी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को कर्नाटक चुनाव प्रचार की अहम जिम्मेदारी दे रखी है और वह चुनावी सभाओं से लगातार कांग्रेस पर हमला कर रहे हैं।
कर्नाटक में 12 मई को विधानसभा के चुनाव होने हैं और नतीजे 15 मई को आने हैं।
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HIGHLIGHTS
- मनमोहन सिंह ने मोदी सरकार के खिलाफ खोला मोर्चा
- सिंह ने कहा कि मोदी के आर्थिक कुप्रबंधन से बर्बाद हुई अर्थव्यवस्था
Source : News Nation Bureau