विश्व की सबसे बड़ी तेल कंपनी सऊदी अरामको (Saudi Aramco) भारत में अपना पैठ जमाने की कोशिश में है. सऊदी अरामको कंपनी भारत की नवरत्न तेल और गैस कंपनी बीपीसीएल यानी भारत पेट्रोलियम (Bharat Petroleum) में हिस्सेदारी खरीदने को इच्छुक है. हालांकि अभी सरकार की ओर से कोई बयान जारी नहीं हुआ है. रिपोर्ट्स में बताया गया है कि ये डील 510 रुपये से 1100 रुपये प्रति शेयर के बीच हो सकती है. इस खबर के बाद BPCL के शेयर में जोरदार तेजी आई है. NSE (National Stock Exchange) में BPCL का शेयर 5 फीसदी ऊपर यानी 515 रुपये पर पहुंच गया है. BPCL में केंद्र सरकार की हिस्सेदारी 53.29 फीसदी है. पिछले दिनों मोदी सरकार ने BPCL का नाम लिए बिना हिस्सा बिक्री के लिए एडवाइजर नियुक्त करने का विज्ञापन दिया था.
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सऊदी अरामको दुनिया की सबसे ज्यादा मुनाफे वाली तेल कंपनी है. कंपनी ने हाल ही में पहली बार अपने वित्तीय डाटा का खुलासा किया है. 2018 में अरामको का प्रॉफिट 111.1 अरब डॉलर रहा, जो किसी भी तरह के बिजनेस से जुड़ी दुनिया की कंपनियों का नहीं है. अरामको यानी 'अरबी अमरीकन ऑइल कंपनी' की स्थापना अमेरिकी तेल कंपनी ने की थी. सऊदी अरब ने 1970 के दशक में इसका राष्ट्रीयकरण कर दिया था. पारदर्शिता को लेकर यह कंपनी विवादों में भी रही है.
केंद्र सरकार पेट्रोलियम मंत्रालय की BPCL (Bharat Petroleum Corporation Limited) में हिस्सा बेचना चाहती है. BPCL में सरकार की हिस्सेदारी 53.29 फीसदी है. न्यूज एजेंसी रॉयटर्स के अनुसार, केंद्र सरकार देश के इतिहास में सबसे बड़ी निजीकरण बोली में भारत पेट्रोलियम में अपनी 53.29% हिस्सेदारी बेचेगी, जिसे सऊदी अरामको खरीद सकती है.
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भारत पेट्रोलियम के अलावा कंटेनर कॉर्प और शिपिंग कॉर्प में विनिवेश के जरिये 1.05 लाख करोड़ रुपये जुटाने की केंद्र सरकार की योजना है. केंद्र सरकार BPCL में अपनी पूरी 53.3 फीसदी हिस्सेदारी बेचकर 65 हजार करोड़ रुपये जुटाने की जुगत में है, जिसके लिए संसद से मंजूरी भी लेनी जरूरी नहीं होगी.
Source : न्यूज स्टेट ब्यूरो