दिल्ली स्थित गाजीपुर मंडी भले ही 5 दिन बंद रहने के बाद खुल चुकी हो, लेकिन इस दौरान मंडी को करोड़ों रुपये का नुकसान उठाना पड़ा है. मंडी के व्यापारियों का दावा है कि यह सबसे बड़ी मंडी इस तरह पहली बार बंद हुई है और यहां से हर दिन करीब 4 लाख मुर्गो का व्यापार होता है. यहां की मुर्गा मंडी में हर दिन करीब 100 गाड़ियां आती हैं. हर गाड़ी में करीब 3 से साढ़े 3 लाख रुपये का तक माल होता है.
100 गाड़ी माल की है आवक
गाजीपुर होलसेल पोल्ट्री एसोसिएशन के अध्यक्ष सलाउद्दीन ने बताया, 'हर दिन 100 गाड़ी माल आता है और हर गाड़ी करीब 3 लाख रुपये की होती थी. इसमें सरकार का टैक्स, हमारी कमाई, मजदूर की तनख्वाह शामिल हैं.' उन्होंने कहा कि इन गाड़ियों के हिसाब से जोड़ें तो करोड़ों रुपये का नुकसान हुआ है. मंडी 5 दिन बंद रही, साथ ही अफवाहों का व्यापार पर अलग असर हुआ. सलाउद्दीन ने आगे कहा, 'किसानों को भी इसका नुकसान है और मंडी बंद होने से एक गलत संदेश गया. जिन लोगों ने पहले चिकन के ऑर्डर दिए थे, वे अब आकर उन्हें कैंसल भी कर रहे हैं, हमारे लिए तो ये भी नुकसान है.'
बर्ड फ्लू के फेर में हुई थी बंद
देश के कई राज्यों में बर्ड फ्लू के मामले सामने आने और बर्ड फ्लू की आशंका को देखते हुए 9 जनवरी को सबसे बड़ी मंडी को बंद करने के आदेश दिए. गाजीपुर मंडी में कुल 88 दुकानें मौजूद हैं और मंडी से रैंडम सैंपल भेजे गए थे, जिनकी रिपोर्ट नेगेटिव आई. इसके बाद दिल्ली सरकार ने 14 जनवरी को मंडी खोलने का आदेश दिया था. सलाउद्दीन ने कहा, 'सरकार ने जब मंडी को खोलने का आदेश दे दिया है तो मेरी ये गुजारिश है कि सरकार अब थोड़े नियम बनाए. मंडी में तो मुर्गो की जांच होती है, लेकिन जो बाहर खुले में मुर्गो का व्यापार करते हैं, उनकी जांच होनी चाहिए और उनसे पूछा जाए और मंडी की पर्ची देखें. इससे दिल्ली की जनता को भी सुरक्षित माल जाएगा.'
मंडी खुलने से तोड़ी राहत
मंडी में व्यापार कर रहे अन्य दुकानों का कहना है कि खुलने के बाद थोड़ा असर हुआ है. पहले जहां 100 से अधिक गाड़ियों का माल बिकता था, वहीं अब 60 से 70 गाड़ियों का माल आ रहा है. हालांकि इस वक्त मंडी में लाइव चिकन की कीमत 70 रुपये है. इससे पहले करीब 90 रुपये हुआ करती थी. मंडी के व्यापारी मोहम्मद सईद ने बताया, 'मंडी बंद होने के बाद से व्यापार असर हुआ है, नमूने की जांच होने के बाद दिल्ली के मुख्यमंत्री को मंडी पर आदेश जारी करना था.' उन्होंने कहा, 'एशिया की सबसे बड़ी मंडी होने के नाते जिस तरह ये बंद हुई, उससे एक गलत संदेश भी गया है' पहली बार ऐसा हुआ है, जब ये मंडी बंद हुई.'
बरती जा रही पूरी सावधानी
गाजीपुर मुर्गा मंडी खुलने के बाद पूरी सतर्कता बरती जा रही है. शनिवार को पशुपालन विभाग की टीम ने मंडी पहुंचकर मुर्गो का स्वास्थ्य परीक्षण भी किया था. इस दौरान सभी मुर्गे स्वस्थ मिले, लेकिन एहतियात के तौर पर 15 नमूने लेकर जांच के लिए प्रयोगशाला में भेज दिए गए हैं, जिनकी रिपोर्ट आना बाकी है. इस मंडी से दिल्ली-एनसीआर में मुर्गे सप्लाई किए जाते हैं.
Source : IANS/News Nation Bureau