GST On House Rent: वस्तुओं और सेवाओं पर जीएसटी को लेकर लंबे समय से असमंजस की स्थिति बनी हुई. जीएसटी काउंसिल की 47वीं बैठक के बाद से कुछ नई वस्तुओं और सेवाओं को जीएसटी के दायरे में लाया गया है. लेकिन बीते महीने जून में हुई मीटिंग के फैसलों पर स्थिति साफ नहीं हो पाई है. पिछले दिनों सरायों पर जीएसटी के नियम से जुड़ी स्थितियां को साफ किया गया था. अब नया मामला किराये के घर पर 18 फीसदी जीएसटी देने को लेकर आ रहा है. जिस पर एक बार फिर से सरकार ने अपनी बात रखी है.
केवल इन ही लोगों को देनी होगी जीएसटी
जीएसटी काउंसिल की 47वीं बैठक में ही फैसला लिया गया था कि अगर कोई व्यक्ति किराये पर घर लेता है तो इस पर 18 फीसदी की दर से जीएसटी ली जाएगी. सरकार के इस फैसले के बाद से ही नियम को लेकर कई भ्रामक बातें फैलाई जाने लगीं. लेकिन सरकार ने स्थिति साफ की है. यह नियम हर किसी पर लागू नहीं होगा. नियमों के मुताबिक अगर आप खुद के लिए किराये का घर खरीदते हैं तो आपको जीएसटी नहीं देनी होगी. लेकिन वे कारोबारी जो जीएसटी के तहत रजिस्टर्ड हैं और कारोबार के लिए किराये पर घर लेते हैं तो जीएसटी चुकानी अनिवार्य होगी.
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इन स्थितियों में ही होगा जीएसटी का भुगतान
सरकार ने साफ किया है कि अगर कोई नौकरीपेशा व्यक्ति खुद के रहने के लिए घर किराये पर लेता है जीएसटी का नियम लागू नहीं होगा. वहीं अगर जीएसटी अनरजिस्टर्ड व्यक्ति किराये पर घर किसी रजिस्टर्ज कंपनी को देता है जीएसटी लिया जाएगा. इसी तरह अगर कोई कंपनी अपने कर्मचारी को रहने या ऑफिस के लिए देती है तो इस केस में तो किरायेदार को जीएसटी का भुगतान करना होगा. वहीं अगर कंपनी कर्मचारी के लिए फ्लैट लेती है लेकिन मकान मालिक जीएसटी के तहत रजिस्टर्ड नहीं है तब कंपनी को जीएसटी का भुगतान करना होगा. लेकिन मकान मालिक और किरायेदार दोनों के ही जीएसटी के तहत रजिस्टर्ड ना होने पर जीएसटी का भुगतान नहीं करना होगा.