उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के कानपुर जिले में करीब 1 महीने बाद बर्रा अपहरण मामले में आई बुरी खबर है. किडनैप युवक संजीत की 26-27 जून को ही गई हत्या (Murder) कर दी गई थी. पुलिस ने इस बात की पुष्टि की है. संजीत के पुराने दोस्तों ने मिलकर हत्या की और फिर उसके शव पांडु नदी में फेंक दिया. फिलहाल पुलिस शव को तलाशने में जुटी है. बता दें कि संजीत यादव नाम के युवक का अपहरण हुआ था. किडनैपर्स ने संजीत के परिवार से 30 लाख फिरौती भी ले ली थी. इसके बावजूद भी उसे नहीं छोड़ा गया था.
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जानिए कब क्या हुआ
- 22 जून- रात हॉस्पिटल से घर आने के दौरान संजीत का अपहरण हुआ.
- 23 जून- परिजनों ने जनता नगर चौकी में उसकी गुमशुदगी की तहरीर दी.
- 26 जून- एसएसपी के आदेश पर मुकदमा दर्ज हुआ.
- 29 जून- अपहरणकर्ता ने संजीत के परिजनों को 30 लाख की फिरौती के लिए फोन किया.
- 5 जुलाई- परिजनों ने शास्त्री चौक पर जाम लगाकर पुलिस पर कार्रवाई न करने का आरोप लगाया.
- 12 जुलाई- एसपी साउथ कार्यालय में इस बाबत दोबारा प्रार्थना पत्र दिया गया.
- 13 जुलाई- परिजनों ने फिरौती की रकम 30 लाख से भरा बैग गुजैनी पुल से नीचे फेंक दिया, लेकिन फिर भी संजीत नहीं आया.
- 14 जुलाई- परिजनों ने एसएसपी से शिकायत की, जिसके बाद संजीत को 4 दिन में बरामद करने का भरोसा दिया गया.
- 16 जुलाई- बर्रा इंस्पेक्टर रंजीत राय को सस्पेंड किया गया.
- 24 जुलाई- पुलिस ने संजीत की हत्या की पुष्टि की.
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गौरतलब है कि एक मीडिया रिपोर्ट में कहा गया कि गत 22 जून को संदीप यादव नामक एक लैब टेक्नीशियन का अपहरण कर लिया गया था. उसकी रिहाई के लिए 30 लाख रुपये फिरौती मांगी गई थी. इस सिलसिले में बर्रा थाने में मुकदमा दर्ज कराया गया था. पीड़ित परिवार ने मंगलवार को आरोप लगाया था कि पुलिसकर्मियों के जोर देने पर उन्होंने फिरौती के लिए 30 लाख रुपए की रकम इकट्ठा की और उनके कहने पर सोमवार को उसे रेल की पटरी पर फेंक दिया. मगर अपहरणकर्ता लोग उस रकम को ले गए और यादव को छोड़ा भी नहीं.