कोरोना वायरस (Corona Virus) को लेकर देश में 21 दिन का लॉकडाउन है. इस संकट की घड़ी में विद्यार्थियों की पढ़ाई डिस्टर्ब न हो इसको लेकर आनलाइन एजुकेशन सिस्टम उपलब्ध है. आनलाइन एजुकेशन (Online Education) के लिए कई नामी कंपनियों ने स्कूलों को सॉल्यूशन दिए हैं. हालांकि, अभी तक कुछ प्राइवेट स्कूलों ने ही इस प्रक्रिया को शुरू किया है. इसे लेकर न्यूज नेशन ने आनलाइन एजुकेशन से जुड़े कुछ लोगों के साथ चर्चा की है.
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इस डिबेट में एक्स्ट्रामार्क एजुकेशन की डायरेक्टर पूनम सिंह जामवाल, रिज वैली एंड समरफीड्स स्कूल गुरुग्राम के चेयरमैन और रिटायर्ड मेजर जनरल कुंवर बीएस लालोत्रा, मेयो कॉलेज अजमेर के आईटी हेड श्रीराम और सनबीम ग्रुप आफ एजुकेशन की डिप्टी डायरेक्टर अमिता बर्मन ने हिस्सा लिया है. पूनम सिंह जामवाल ने कहा कि हमारा एक्स्ट्रामार्क एजुकेशन (ExtraMarks Education) कई सालों से इस पर रिसर्च कर रहा था कि बच्चों को स्कूली एजुकेशन घर में ही उपलब्ध सके.
पूनम सिंह जामवाल ने कहा कि इस महामारी के बीच में हमने सभी आनलाइन क्लास स्कूल और बच्चों के लिए फ्री कर दिया है. लाइव लेक्चर भी फ्री है, ताकि इस मुश्किल समय में बच्चों की पढ़ाई में कोई समस्या न हो. अगर आपके पास एक स्मार्ट फोन है तो हमारा लर्निंग सॉफ्टवेयर डाउनलोड कर सकते हैं और उसे बिना सिम कार्ड के भी यूज कर सकते हैं.
उन्होंने कहा कि हम यह एजुकेशन 10 हजार स्कूल और 70 हजार क्लास में चलाते हैं. हमारा प्लेटफार्म लर्निंग मैटर है. उन्होंने कहा कि एक्स्ट्रामार्क एजुकेशन में टीचर पढ़ा सकते हैं और कुछ लिख भी सकते हैं. साथ ही बच्चों को होमवर्क भी दे सकते हैं. पूनम ने आगे कहा कि आप फ्री में इंडिविजुअल एक्स्ट्रामार्क एजुकेशन भी ले सकते हैं. आप सेल्फ टेस्ट और पढ़ाई भी कर सकते हैं. उन्होंने कहा कि इस आनलाइन एजुकेशन के माध्यम से शिक्षक बच्चों का टेस्ट लेकर उसे मार्क्स भी दे सकते हैं और गुणवत्ता भी जांच सकते हैं.
बच्चों की पढ़ाई जारी रखने में अहम योगदान दे रहे आनलाइन एजुकेशन: बीएस लालोत्रा
रिटायर्ड मेजर जनरल कुंवर बीएस लालोत्रा ने कहा कि सबसे पहले मैं सभी टीचर, डिजिटल कंपनी से जुड़े लोग और आईटी कंपनी को धन्यवाद देना चाहता हूं, जो इस कोरोना की लड़ाई में आगे आए हैं और बच्चों की पढ़ाई जारी रखने में अहम योगदान दे रहे हैं. मैं जिस स्कूल से जुड़ा हूं और मैं कई स्कूलों के बोर्ड का मेंबर भी हूं, ये स्कूल पहले ही डिजिटल प्लेटफार्म में थे. आज के जो बच्चे हैं वे डिजिटल इक्यूपमेंट से पढ़ते हैं. आज सबके घरों में स्मार्ट फोन, कंप्यूटर या लैपटॉप है तो हर स्कूल कोशिश करेगा कि बच्चों को घरों में ही पढ़ा दे.
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मेजर जनरल कुंवर बीएस लालोत्रा ने कहा कि आनलाइन एजुकेशन ही बच्चों का भविष्य है. आप इतने स्कूल या क्लास नहीं बना सकते हैं तो ऐसे में बच्चों की पढ़ाई के लिए डिजिटल एजुकेशन बेहतर है. इस डिजिटल एजुकेशन के जरिये घर-घर में डांस क्लास आदि चीजें पहुंच रही हैं. मैं अपील करता हूं कि सरकार को इस डिजिटल एजुकेशन की पढ़ाई को बढ़ावा देना चाहिए.
बच्चों की पढ़ाई को लेकर बहुत अच्छा प्लेटफार्म है:अमिता बर्मन ने कहा
अमिता बर्मन ने कहा कि पैरेंट को पहले थोड़ी बहुत मुश्किल हो रही थी, लेकिन धीरे-धीरे उन्होंने इंटरनेट और कंप्यूटर संबंधी सारी अपनी समस्याएं दूर कर ली हैं. इसे लेकर पैरेंट को प्रोत्साहित भी किया जा रहा है. ये बच्चों की पढ़ाई को लेकर बहुत अच्छा प्लेटफार्म है. इस आनलाइन एजुकेशन में टीचर भी नए कंटेंट जोड़ रहे हैं.