दिल्ली विश्वविद्यालय ने कॉलेजों और विश्वविद्यालय के विभागों के छात्रों के ऑनलाइन इन्टर्नल असेसमेंट के दिशा निर्देश जारी किए हैं. दिल्ली विश्वविद्यालय ने पहली बार इन्टर्नल असेसमेंट से संबंधित अपनाए जाने वाले दिशा निर्देश जारी किए हैं. इससे वायवा, प्रेक्टिकल प्रोजेक्ट्स, अप्रेंटिसशिप, मौखिक परीक्षा, फील्ड वर्क का भी असेसमेंट होगा. दिल्ली विश्वविद्यालय के परीक्षा नियंत्रक ने दिल्ली विश्वविद्यालय से सम्बद्ध कॉलेजों और विश्वविद्यालय के विभागों के छात्रों के आंतरिक मूल्यांकन संबंधी दिशा निर्देश जारी किए हैं. साथ ही उन्होंने निर्देश दिया है कि आंतरिक मूल्यांकन, वायवा, प्रेक्टिकल, प्रोजेक्ट्स, अप्रेंटिसशिप, मौखिक परीक्षा तथा फील्ड वर्क आदि जो कि सेमेस्टर के अंत से पहले परीक्षा की सम्पूर्ण प्रक्रिया करने के लिए आवश्यक हैं.
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शिक्षक संगठन दिल्ली टीचर्स एसोसिएशन के प्रभारी प्रोफेसर हंसराज सुमन ने कहा, 'कोविड -19 के चलते दिल्ली विश्वविद्यालय ने पहली बार आंतरिक मूल्यांकन ( इन्टर्नल असेसमेंट ) से संबंधित अपनाए जाने वाले दिशा निर्देश जारी कर रही है. कॉलेजों को जारी दिशा निर्देशों को तीन चरणों में अपनाने को कहा है. इसमें कक्षा परीक्षा ( क्लास टेस्ट ) ट्यूटोरियल टेस्ट तथा अटेंडेंस आदि शामिल है.'
यह प्रक्रिया कोविड-19 के चलते अपनाई जा रही है. इस आंतरिक मूल्यांकन को आई टी टूल्स के जरिये ईमेल या गूगल क्लास रूम के माध्यम से विषय से संबंधित शिक्षक उस विषय का आंतरिक मूल्यांकन करेंगे. वे ईमेल या गूगल क्लास रूम के माध्यम से असाइनमेंट प्राप्त करेंगे तथा एक ही चरण को आंतरिक मूल्यांकन मानते हुए जांचेंगे तथा छात्र अपने शिक्षकों को ईमेल या गूगल के माध्यम से उत्तर भेजेंगे. इसके मुख्य पृष्ठ पर प्रश्न का शीर्षक, छात्र का नाम, प्रोग्राम तथा सेमेस्टर लिखा होना चाहिए.
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प्रोफेसर सुमन के मुताबिक छात्र के असाइनमेंट के मूल्यांकन के उपरांत विषय से संबंधित शिक्षक मूल्यांकन करने पर कॉलेज के प्रिंसिपल ऑफिस में सौंपेगा. यदि छात्र पीजी स्तर के हैं तो वह सम्बद्व विभाग के प्रभारी को मूल्यांकन के लिए सौपेंगे. शिक्षकों द्वारा आंतरिक मूल्यांकन से संबंधित प्रक्रिया का पालन करने के बाद मूल्यांकन करके मूल्यांकन पत्र कॉलेज को सौंपना होगा.
यूजी कोर्सेज में प्रेक्टिकल सलेबस के अनुसार शिक्षक छात्रों को असाइनमेंट देंगे. छात्र ईमेल द्वारा या गूगल क्लास रूम द्वारा शिक्षक को प्रेक्टिकल परीक्षा का उत्तर प्रदान करेंगे जो कि वह एक निश्चित समय के अंतर्गत किया जाएगा. इसमें प्रोग्राम का नाम तथा सेमेस्टर, प्रेक्टिकल पेपर का शीर्षक तथा छात्र का नाम, उत्तर पुस्तिका के ऊपर लिखा होना चाहिए. पीजी कोर्सेज के लिए वायवा, मौखिक परीक्षा ये सभी निश्चित सलेबस के अनुसार सम्पन्न किए जाएंगे.
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छात्र ऑनलाइन ही असाइनमेंट, प्रोजेक्ट्स, वायवा, परीक्षा संबंधी जानकारी प्राप्त कर रहे हैं. इसके बाद शिक्षक संबंधित कॉलेजों के प्रिंसिपल को उन छात्रों के असाइनमेंट के अंकों को जमा करा देंगे. उसके बाद इन छात्रों के अंक डीन एग्जामिनेशन को चले जाते हैं, जो उनकी मार्कशीट में लगकर आ जाएंगे.
Source : IANS