मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ में विधानसभा चुनाव के लिए प्रत्याशियों की घोषणा के साथ ही भाजपा में रूठने और मनाने का खेल शुरू हो गया है. छत्तीसगढ़ में मिशन 65 का नारा देने वाली बीजेपी में कोरबा जिले की कटघोरा और कोरबा सीट पर प्रत्याशियों में खुलकर नाराजगी देखी जा सकती है. हालांकि बीजेपी वहां एकजुटता का दावा कर रही है, लेकिन टिकट कटने से न केवल नेता बल्कि कार्यकर्ताओं में भी रोष है. दूसरी ओर, पार्टी की राज्य इकाई के आला नेताओं का मानना है कि टिकट वितरण में यह देखा गया है कि प्रत्याशी चुनाव जीत सकता है या नहीं. अगर कोई नेता नाराज है तो उसे मना लिया जाएगा. मध्य प्रदेश में भी कई सीटों पर करीब-करीब यही माहौल है.
बीजेपी के 78 सीटों पर प्रत्याशियों की घोषणा होने के बाद कई नेता नाराज चल रहे हैं. बीजेपी ने कटघोरा विधानसभा सीट से मौजूदा विधायक लखनलाल देवांगन को दोबारा टिकट दिया है, तो कोरबा विधानसभा से युवा चेहरे सांसद डा.वंशीलाल महतो के बेटे विकास महतो पर दांव लगाया है. ऐसे में टिकट की उम्मीद लगाए बैठे बीजेपी के जिलाध्यक्ष सहित पूर्व महापौर जोगेश लाम्बा का खेमा नाराज है.
कटघोरा विधानसभा सीट पर बीजेपी के पूर्व जिलाध्यक्ष पवन गर्ग को पार्टी से टिकट मिलने की उम्मींद थी, लेकिन पार्टी ने दोबारा वर्तमान विधायक लखनलाल देवांगन को ही मौका दिया है. इससे कटघोरा सीट से टिकट की उम्मीद लगाए बैठे नेता रूठ गए हैं. इससे इन सीटों पर चुनाव में पार्टी को भितरघात का सामना करना पड़ सकता है.
Source : विजय कुमार