दिल्ली स्थित जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय छात्रसंघ की अध्यक्ष आइशी घोष पश्चिम बंगाल (West Bengal) विधानसभा चुनाव लड़ेंगी. आइशी को वामपंथी दल माकपा ने जमुरिया विधानसभा सीट से टिकट दिया है. वह जेएनयू छात्रसंघ की अध्यक्ष रहते हुए विधानसभा चुनाव (Assembly Election) लड़ने वाली पहली छात्र बन गई हैं. इससे पहले छात्रसंघ के पूर्व अध्यक्ष कन्हैया कुमार (Kanhaiya Kumar) को भाकपा बिहार की बेगूसराय लोकसभा सीट से उम्मीदवार बना चुकी है, लेकिन इस वामपंथी दल के टिकट पर चुनाव लड़ने वाले कन्हैया कुमार तब छात्रसंघ के पूर्व अध्यक्ष थे.
दुर्गापुर की रहने वाली हैं आइशी घोष
जेएनयू छात्रसंघ अध्यक्ष आइशी घोष पश्चिम बंगाल के दुगार्पुर की रहने वाली हैं. आइशी घोष ने स्कूली पढ़ाई दुगार्पुर से की है. उन्होंने दिल्ली विश्वविद्यालय के दौलत राम कॉलेज से राजनीति विज्ञान में स्नातक की डिग्री हासिल की और जेएनयू से एमफिल कर रही हैं. पिछले वर्ष जेएनयू हिंसा में उन्हें चोट भी आई थी. आइशी जेएनयू में फीस वृद्धि का विरोध कर रही हैं. फीस वृद्धि के खिलाफ उन्होंने जेएनयू में हड़ताल की और छात्रों के सहयोग से आंदोलन करती रही हैं.
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जेएनयू हमेशा भीतर रहेगा आइशी के
विधानसभा चुनाव में उन्हें उम्मीदवार बनाए जाने के बाद आइशी घोष ने कहा कि, यह एक बड़ी जिम्मेदारी है. नई जिम्मेदारी मिलने के बावजूद मेरी राजनीति में कोई बदलाव नहीं होगा. उन्होंने कहा कि जेएनयू उनके भीतर हमेशा रहेगा. आइशी के मुताबिक जेएनयू में छात्रसंघ ने जिन मुद्दों पर लड़ाई लड़ी है आगे भी उन्हीं विषयों पर संघर्ष करना है. आइशी के मुताबिक, 'विश्वविद्यालय हो या फिर देश के अलग-अलग हिस्से सब जगह मुद्दे एक जैसे ही हैं. वह आरक्षण और सांप्रदायिकता का विषय हो सकता है. देश में बढ़ती बेरोजगारी हो या बेहतर शिक्षा व्यवस्था का विषय हो सकता है.'
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जेएनयू की लड़ाई को आगे बढ़ाएंगी आइशी
उन्होंने कहा कि वह पश्चिम बंगाल के लोगों के लिए उन मुद्दों को लेकर आगे बढ़ेंगी जिनको लेकर उन्होंने जेएनयू में लड़ाई लड़ी है. जेएनयू में आइशी घोष के आंदोलन को फिल्म अभिनेत्री दीपिका पादुकोण का समर्थन भी मिला था. दीपिका पादुकोण ने जेएनयू पहुंचकर छात्रों के प्रदर्शन में हिस्सा लिया था. हालांकि इस उपस्थिति के दौरान दीपिका पादुकोण किसी भी नारेबाजी में शामिल नहीं हुई थीं.
HIGHLIGHTS
- जेएनयू छात्रसंघ की अध्यक्ष बतौर विधानसभा चुनाव लड़ने वाली पहली छात्र
- कन्हैया कुमार ने छात्रसंघ के पूर्व अध्यक्ष के तौर पर लड़ा था बिहार चुनाव
- विश्वविद्यालय हो या देश के अलग-अलग हिस्से सब जगह मुद्दे एक जैसे