Karnataka Polls 2023, BM Mallikarjuna resigns from the primary membership of the Party : कर्नाटक चुनाव ( Karnataka Elections 2023 ) से पहले बड़ी खबर आ रही है. बीएम मल्लिकार्जुन ने अपनी पार्टी छोड़ दी है. उन्होंने भारतीय जनता पार्टी की सदस्यता से इस्तीफा दे दिया है. पार्टी नेतृत्व को लिखे पत्र में उन्होंने इसकी वजह भी बताई है. दरअसल, बीएम मल्लिकार्जुन बाहुबली नेता माने जाते हैं. पिछले महीने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ( Prime Minister Narendra Modi ) कर्नाटक के दौरे पर गए थे, जहां बीएम मल्लिकार्जुन ने उनका स्वागत किया था. इसके बाद विपक्षी पार्टियों ने बीजेपी को निशाने पर ले लिया था. बीजेपी नेताओं ने बाद में इसे भूल करार दिया था.
फाइटर रवि के नाम से जाने जाते हैं बीएम मल्लिकार्जुन
बीएम मल्लिकार्जुन को फाइटर रवि ( BM Mallikarjuna aka Fighter Ravi ) के नाम से भी जाना जाता है. उन्होंने भारतीय जनता पार्टी ( Bharatiya Janata Party ) की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया है और बाकायदा लेटर हेड पर उन्होंने इसकी घोषणा की है. समाचार एजेंसी एएनआई ने उनका पत्र सार्वजनिक किया है.
Karnataka | BM Mallikarjuna also known as 'Fighter Ravi' resigns from the primary membership of the Bharatiya Janata Party pic.twitter.com/9onIEfj4k1
— ANI (@ANI) April 15, 2023
प्रधानमंत्री के साथ इस फोटो पर कांग्रेस ने साधा था निशाना
"Prime Minister of India standing folding his hands before Rowdy Sheeter 'Fighter Ravi' in Mandya, Karnataka.
— Indian Youth Congress (@IYC) March 14, 2023
What a shame!!"
- Shri @srinivasiyc ji pic.twitter.com/S4siJ4AZOG
ये तस्वीर पिछले महीने की है, जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मांड्या गए थे. वहां पीईएस कॉलेज के पास बने हेलीपैड पर फाइटर रवि ने उनका स्वागत करते हुए नमस्कार भी किया था, जिसका प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हाथ जोड़कर उत्तर भी दिया था. इसके बाद से कांग्रेस ने उन्हें निशाने पर ले लिया था और फाइटर रवि की तुलना महर्षि वाल्मीकि से तंजिया तौर पर करते हुए कहा था कि अब तो रवि भी डाकू से साधु बन गए. दरअसल, रवि पर गुंडागर्दी के कई मामले दर्ज हैं. वो मशहूर गुंडे हैं और उनके नाम पर राउडी शीट भी खुली है.
HIGHLIGHTS
- बीएम मल्लिकार्जुन ने छोड़ी पार्टी
- बीजेपी की सदस्यता से दिया इस्तीफा
- प्रधानमंत्री का स्वागत करने के बाद हुआ था विवाद