पश्चिम बंगाल के चुनावी रण में सियासी घमासान मचा हुआ है. इस विधानसभा चुनाव में सबसे दिलचस्प और बड़ी जंग का मैदान नंदीग्राम बना है. इस विधानसभा सीट से तृणमूल कांग्रेस की मुखिया ममता बनर्जी खुद मैदान में उतरी हैं तो टक्कर देने के लिए उन्हीं के सिपहसालार रहे सुवेंदु अधिकारी सामने खड़े हैं. टीएमसी को छोड़कर भारतीय जनता पार्टी में आए सुवेंदु अधिकारी को पार्टी ने ममता के खिलाफ ही चुनावी मैदान में उतारा है. जिससे सबकी नजर अब नंदीग्राम सीट पर है. हालांकि इस बीच सुवेंदु अधिकारी पर बड़ा आरोप लगाते हुए उनकी शिकायत टीएमसी ने चुनाव आयोग से की है.
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टीएमसी ने सुवेंदु अधिकारी पर अपराधियों को शरण देने का आरोप लगाया है. जिसको लेकर पार्टी ने चुनाव आयोग को एक चिट्ठी भेजी है. चिट्ठी में टीएमसी ने आरोप लगाया, 'नंदीग्राम में सुवेंदु अधिकारी अपराधियों को शरण दे रहे हैं, , जो निर्वाचन क्षेत्र के निवासी नहीं हैं.' टीएमसी ने चुनाव आयोग से इस मामले में तत्काल हस्तक्षेप करने और पुलिस द्वारा आवश्यक कदम उठाए जाने वाले का अनुरोध किया है. टीएमसी की ओर से चुनाव आयोग को यह चिट्ठी पार्टी के सांसद डेरेक ओ ब्रायन ने लिखी है.
चिट्ठी में टीएमसी ने लिखा, 'सुवेंदु अधिकारी ने अपने निर्वाचन क्षेत्र में असामाजिक तत्वों को पनाह दे रखी है. सुवेंदु इन अपराधियों और असामाजिक तत्वों को यहां लाकर काम करा रहे हैं. ये स्थानीय निवासी लोग भी नहीं हैं. इन लोगों का अलग अलग जगहों पर क्रिमिनल रिकॉर्ड रहा है.' टीएमसी ने इलाके के घरों और गृहस्वामियों के नाम के साथ चुनाव आयोग को शिकायत भेजी है.
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टीएमसी का आरोप है, 'सड़क और घर की स्थिति स्पष्ट करते हुए लिखा गया है कि कालीपद शी के दो मंजिला मकान में 30-40 लड़के रह रहे हैं. ये लोग बाइक्स पर घूमते रहते हैं, जो कोलाघाट, पिंगला, कांठी और कोंटाई के रहने वाले हैं. इसके अलावा हरिपुर में मेघनाथ पाल के घर में अधिकारी के चुनाव एजेंट के साथ भी 30-40 लोग रह रहे हैं. बॉयल में पवित्र कर और भजोहरी सामंत के यहां भी दर्जनों बाहरी लोग हैं.' इसको लेकर चिट्ठी में टीएमसी ने आयोग से सख्त कदम उठाने की मांग की.