कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने एक बार फिर "चौकीदार चोर है" वाले बयान पर माफी मांगी है. इस संबंध में उन्होंने सुप्रीम कोर्ट में बुधवार को नया हलफनामा दाखिल कर बिना शर्त माफी मांग ली है. अवमानना मामले में हलफनामा दाखिल कर राहुल गांधी ने कहा- गलती से पार्टी का राजनीतिक नारा कोर्ट के आदेश के साथ मिलाकर बोल दिया था. इससे पहले के हलफनामे में राहुल ने गलती के लिए सिर्फ 'खेद' जताया था. शुक्रवार को मामले की सुनवाई है.
इससे पहले 29 अप्रैल को बीजेपी सांसद मीनाक्षी लेखी की ओर से दायर अवमानना याचिका पर कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने हलफनामा पेश किया था. उस हलफनामे में राहुल गांधी ने कहा कि उन्होंने उत्तेजना में ऐसा बयान दिया था, जिसके लिए उन्हें खेद है. उनका इरादा सुप्रीम कोर्ट के बारे में टिप्पणी करना नहीं था, यह उनसे गलती से हो गया था. इस पर याचिकाकर्ता मीनाक्षी लेखी ने आपत्ति जताई थी कि राहुल गांधी ने केवल खेद जताया है, माफी नहीं मांगी है. खेद और माफी में अंतर है. राहुल गांधी को माफी मांगनी चाहिए.
इससे पहले राहुल गांधी ने दो बार हलफनामे में केवल खेद जताया था, लेकिन इस बार कोर्ट से बिना शर्त माफी मांगते हुए मामले को खत्म करने की गुहार लगाई है. अब सुप्रीम कोर्ट इस मामले पर शुक्रवार को सुनवाई करेगा.
बता दें कि राहुल गांधी ने नरेन्द्र मोदी के खिलाफ ‘‘चौकीदार चोर है’’ की अपमानजनक टिप्पणी की थी, जिसके खिलाफ बीजेपी सांसद मीनाक्षी लेखी ने सुप्रीम कोर्ट में अवमानना की याचिका दाखिल की थी. इस केस की सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने कहा था कि कोर्ट ने कभी ऐसा नहीं कहा और न ही उसके जजमेंट में इस तरह की बात कही गई. शीर्ष अदालत ने राहुल गांधी से कहा था कि वे अपनी टिप्पणियों को लेकर कोर्ट में हलफनामा दाखिल कर माफी मांगें.
राहुल के बिना शर्त माफी मांगने पर केंद्रीय मंत्री और बीजेपी के वरिष्ठ नेता मुख्तार अब्बास नकवी ने कहा, "ये झूठ का पहाड़ के नीचे आ चुका है, गाली गैंग के गुर्गे से 23 मई को जनता चुन-चुनकर बदला लेगी. प्रचंड बहुमत के साथ बीजेपी सत्ता में आ रही है.
HIGHLIGHTS
- राहुल ने पीएम के खिलाफ ‘‘चौकीदार चोर है’’ की अपमानजनक टिप्पणी की थी
- राहुल गांधी ने इससे पहले दो बार हलफनामे में केवल खेद जताया था
- याचिकाकर्ता मीनाक्षी लेखी ने राहुल के खेत पर जताई थी आपत्ति
Source : News Nation Bureau