लोकसभा चुनाव (Lok Sabha Election) के पहले चरण की नामांकन प्रक्रिया शुरू हो गई, लेकिन बिहार में अबतक महागठबंधन किसी निर्णय पर नहीं पहुंच सका है. कांग्रेस और राजद के बीच गठबंधन को लेकर अब भी संशय बरकरार है. दोनों पार्टियां एक-दूसरे को दबाने की कोशिश कर रही हैं, जिससे छोटे दलों की चिंता बढ़ गई है.
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बिहार में महागठबंधन पर सस्पेंस बरकरार है. नामांकन प्रक्रिया शुरू हो गई है, लेकिन न सीटों की संख्या तय हो पाई और न ही सीटों की शेयरिंग. रविवार को एनडीए ने सीटों की घोषणा कर महागठबंधन पर दबाव बढ़ा दिया है. राजद के तेजस्वी यादव ने ट्वीट के जरिये कांग्रेस को सीख भी दी कि मुकाबला बड़ा है अहंकार त्यागना होगा. अब पार्टी के नेता इन भावनाओं पर मुखर दिख रहे हैं.
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एमएलए एवं प्रवक्ता विजय प्रकाश ने कहा, कांग्रेस गठबंधन तो चाहती है मगर सहयोगियों के तमाम शर्त मानने को तैयार नहीं है. बिहार की बेगूसराय, चम्पारण जैसी कई सीटों पर निष्कर्ष नहीं निकल पा रहा है. कांग्रेस 11 सीटों पर अड़ी है. कांग्रेस के वरिष्ट नेता हरखू झा ने कहा, राजद और कांग्रेस की इस खींचतान ने दूसरे सहयोगियों की बेचैनी बढ़ा दी है. छोटे घटक दल परेशान हैं. आखिरी वक्त में अगर बात बनी तो क्या होगा. अब इन्होंने भी एक दिन के डेडलाइन में निष्कर्ष पर पहुंचने की उम्मीद रखी है.
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बिहार के पूर्व सीएम जीतन राम मांझी ने कहा, एनडीए के सीटों की घोषणा हो गई और महागठबंधन के पेंच अब भी फंसा है. जदयू के विधायक नीरज कुमार ने कहा, फिलहाल मुश्किलें कायम हैं. ऊंट किस करवट बैठेगा इसके लिए थोड़ा वक्त है. क्योंकि अब वक्त तो महागठबंधन के नेताओं के पास भी नहीं है, क्योंकि चुनावी प्रक्रिया शुरू हो चुकी है और अब कहीं बेहतर के चक्कर में ज्यादा देर न हो जाए.
Source : News Nation Bureau