Faizabad Lok Sabha 2024 Result : उत्तर प्रदेश में बीजेपी को बड़ा झटका लगा है. झटका ऐसा है, जिसकी उम्मीद बीजेपी को भी नहीं रही होगी. यूपी में बीजेपी 33, एसपी 37 और कांग्रेस को 6 सीटें मिली. इन सबके बीच यूपी में सबसे ज्यादा चर्चा में अयोध्या की फैजाबाद सीट है, क्योंकि अयोध्या में भगवान राम का मंदिर बना है और वहीं बीजेपी पिछड़ गई, तो अब सवाल ये है कि बीजेपी फैजाबाद में कैसे हार गई? अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के बाद लोगों को लग रहा था कि बीजेपी इस सीट पर आसानी से जीत हासिल कर लेगी लेकिन यहां तो पूरा खेल ही पलट गया.
सपा के अवधेश प्रसाद 5,54,289 वोटों से जीत दर्ज की जबकि बीजेपी प्रत्याशी लल्लू सिंह को 4,99,722 वोट मिला. यहां लल्लू सिंह 54,567 वोटों से हार गए, तो फिर वही सवाल कि आखिर बीजेपी कैसे रामनगरी में हार गई?
अखिलेश यादव की काम कर गई एक्सपेरिमेंट?
अयोध्या सीट पर सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने एक प्रयोग किया था. इस सीट से अखिलेश यादव ने सबसे बड़ी दलित आबादी वाले पासी समुदाय से उम्मीदवार बनाया. बता दें कि अवेधश पासी 6 बार विधायक, मंत्री और समाजवादी पार्टी के संस्थापक सदस्यों में से नाम सबसे ऊपर आता है. अयोध्या नगरी में पासी जाति की आबादी सबसे अधिक है. जैसे ही अवधेश प्रसाद का नाम फैजाबाद से सामने आया तो वहां पर एक नारा चल पड़ा. अयोध्या में न मथुरा न काशी, सिर्फ अवेधश पासी, इस नारे के साथ ही अयोध्या में दलित समाज गोलबंद हो गया और ओबीसी जाति के लोगों ने भी बैकएंड से अपना समर्थन दे दिया.
क्या लल्लू सिंह को अब नहीं देखा चाहते थे लोग?
बीजेपी ने यहां से लल्लू सिंह को तीसरी बार मैदान में उतारा था, वह यहां से दो बार सांसद रह चुके हैं. इसमें कोई शक नहीं कि बीजेपी ने अयोध्या में काम नहीं किया है लेकिन स्थानीय लोग लल्लू सिंह के काम से खुश नहीं हैं और उनका कहना है कि ये पीएम मोदी की देन है.
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एक बयान ने बदल दिया गेम?
साथ ही लल्लू सिंह के एक बयान ने ऐसा हंगामा मचाया कि पूरे विपक्ष को संविधान को लेकर एक मुद्दा मिल गया. बता दें कि लल्लू सिंह ने कहा था कि मोदी सरकार को इसलिए 400 सीटें चाहिए क्योंकि संविधान बदलना है. इस बयान को लेकर विपक्ष और स्थानीय नेताओं ने माहौल बना दिया. जिसके कारण ओबीसी, एससी-एसटी लोगों के बीच एक डर बन गया कि कहीं से सच ना हो जाए. यही वजह रही है कि बीजेपी रामनगरी में हार गई.
Source :News Nation Bureau