अतीक अहमद और अशरफ अहमद के साथ 15 अप्रैल को जो हुआ वो किसी फिल्मी प्लॉट से कम नहीं. आप ही सोचिए एक गैंगस्टर और उसके भाई को पुलिस मेडिकल जांच के लिए अस्पताल लेकर जा रही है और उन पर कुछ लोग गोलियां चला दें...एक की मौके पर मौत और दूसरा थोड़ी देर बाद ढेर. भला ऐसी कहानी कोई कैसे मिस कर सकता है. यह घटना या मर्डर इस तरह हुआ है जो सुनने में किसी हिट फिल्म की कहानी की तरह लग रहा है. वैसे भी हिंदी फिल्म इंडस्ट्री रियल लाइफ स्टोरीज को पर्दे पर लाने में बहुत दिलचस्पी लेती है.
आज से पहले भी कई बार रियल लाइफ गैंगस्टर्स पर फिल्में बनी हैं...जैसे कि कंपनी, हसीना पार्कर, शूटआउट एट वडाला, डी डे, वंस अपॉन ए टाइम इन मुंबई...ऐसी कई फिल्में है जिनमें असल जिंदगी से प्रेरित गैंगस्टर या बहादुर पुलिसवालों की कहानी दिखाई गई है. अब अतीक अहमद और अशरफ अहमद की इस घटना को भी फिल्म का रूप मिल सकता है. बॉलीवुड का पुराना इतिहास इस बात का गवाह है कि आज नहीं तो कल कोई रिस्क टेकर फिल्म मेकर इस कहानी को पर्दे पर लाने के बारे में जरूर सोचेगा. इसी तरह एक चर्चित मर्डर केस आरुषी हत्याकांड पर भी फिल्म बनी थी और दूसरे उदाहरण तो हम आपको दे ही चुके हैं. अब ऐसे में इस घटना को लेकर फिल्म की उम्मीद करना कोई हवाई बात नहीं. हम तो इस पर भी विचार कर रहे हैं कि कौनसा फिल्म मेकर इस फिल्म को स्क्रीन पर उतार सकता है.
कौन बना सकता है Atiq Ahmed-Ashraf Ahmed Killing पर फिल्म ?
इस बारे में सोचने पर सबसे पहले दिमाग में अनुराग कश्यप का नाम आता है. अनुराग इससे पहले ब्लैक फ्राइडे, गैंग्स ऑफ वासेपुर जैसे फिल्में बना चुके हैं. इसके अलावा सत्या और शूल जैसी क्लासिक फिल्मों के स्क्रीनप्ले लिख चुके हैं. ऐसे में इसे उनका फेवरेट सब्जेक्ट माना जा सकता है. हो सकता है कि अनुराग इस पर फिल्म बनाने का मन बनाएं. अनुराग के बाद दूसरा नाम आता है राम गोपाल वर्मा...यूं तो राम गोपाल वर्मा काफी समय से फिल्म इंडस्ट्री से दूर-दूर हैं लेकिन उनके पुराने रिकॉर्ड को देखें तो वह भी इस घटना को फिल्मी पर्दे पर लेकर आने का काम कर सकते हैं. इससे पहले वह कंपनी, अब तक छप्पन, शूल, सत्या, रक्त चरित्र, वीरप्पन जैसी फिल्में बना चुके हैं.