बर्थ एनिवर्सिरी: जयललिता को शम्मी कपूर थे पसंद, पढ़ें 'अम्मा' के जीवन का पूरा सफर

तमिल सिनेमा के सुपरस्टार एमजी रामचंद्रन के साथ जयललिता ने कुल 28 फिल्मों में काम किया था।

author-image
Sonam Kanojia
एडिट
New Update
बर्थ एनिवर्सिरी: जयललिता को शम्मी कपूर थे पसंद, पढ़ें 'अम्मा' के जीवन का पूरा सफर

जयललिता (फाइल फोटो)

Advertisment

जयललिता का जन्म 24 फरवरी 1948 में मंडीया, मैसूर (अब कर्नाटक) में हुआ था। एक अभिनेत्री से मुख्यमंत्री बनने तक का उनका सफर काफी उतार-चढ़ाव भरा रहा। 'अम्मा' के नाम से सभी के दिलों में बसने वाली जयललिता AIADMK के संस्थापक एमजी रामचंद्रन उर्फ एमजीआर के काफी करीब मानी जाती थीं।

तमिल सिनेमा के सुपरस्टार एमजी रामचंद्रन के साथ जयललिता ने कुल 28 फिल्मों में काम किया था। वह भारतीय राजनीति के सम्मानित नेताओं में से एक थे। जयललिता उन्हीं के साथ राजनीति में आई थीं। 'अम्मा' ने 15 साल की उम्र में ही फिल्मों में काम करना शुरू कर दिया था। आगे चलकर वह एक सुप्रसिद्ध तमिल एक्ट्रेस बनीं। इसके साथ ही वह पढ़ाई में भी काफी रूचि लेती थी।

ये भी पढ़ें: 'सोनू के टीटू की स्वीटी' रिव्यू: रोमांस-ब्रोमांस के बीच मजेदार कॉमेडी

125 से ज्यादा फिल्मों में किया काम

जयललिता ने तमिल, तेलुगु, कन्नड़, अंग्रेजी और हिन्दी में 125 से भी ज्यादा फिल्में की। उन्होंने बॉलीवुड में भी धर्मेंद्र सहित कई अभिनेताओं के साथ काम किया, लेकिन सबसे ज्यादातर फिल्में उन्होंने शिवाजी गणेशन और एमजी रामचंद्रन के साथ की है।

शम्मी कपूर थे फेवरेट एक्टर

जयललिता ने 1980 के बाद फिल्मों को अलविदा कह दिया, लेकिन उन्होंने बताया था कि उन्हें 'जंगली' फिल्म और शम्मी कपूर बेहद पसंद थे। इनके पीछे उनकी दीवानगी इस कदर थी कि वह हर किसी से बयां नहीं कर पाती थी। वह अकसर फिल्म के गाने 'कोई मुझे जंगली कहे' भी गुनगुनाती रहती थी।

राजनीति में आईं 'अम्मा'

कुछ दिनों बाद फिल्मी दुनिया को अलविदा कह कर जयललिता ने एमजीआर के साथ राजनीति की राह पकड़ ली। 1983 में एमजीआर ने जयललिता को पार्टी का सचिव नियुक्त किया और राज्यसभा के लिए मनोनित किया। वह 1989 में एआईएडीएमके की महासचिव बनीं।

1991 में जयललिता पहली बार तमिलनाडु की मुख्यमंत्री बनीं। हालांकि 1996 के चुनाव में उन्हें हार का सामना देखना पड़ा। 2001 में एक बार फिर जयललिता ने जीत का परचम लहराया और दोबारा सीएम बन गईं।

इसके बाद जयललिता 2011 में भी मुख्‍यमंत्री बनीं। तब से निधन होने से पहले तक वह तमिलनाडु की सीएम थीं। भ्रष्टाचार के मामले में सजा होने के बाद कुछ दिनों के लिए वह पद से हटीं थी, लेकिन सुप्रीम कोर्ट से राहत मिलने के बाद वह फिर से सीएम बनीं। 5 दिसंबर 2016 को उन्होंने दुनिया को अलविदा कह दिया।

ये भी पढ़ें: खोज: बिना इंसुलिन के संभव होगा डायबिटीज का इलाज!

Source : News Nation Bureau

Jayalalitha
Advertisment
Advertisment
Advertisment