आज देश में हर तरफ सिर्फ किसानों (Farmers) का मुद्दा नजर आ रहा है. टीवी चैनलों से लेकर सोशल मीडिया तक किसानों का सैलाब दिखाई दे रहा है. नए कृषि कानूनों के खिलाफ हजारों की संख्या में किसान दिल्ली बॉर्डर पर बैठे हुए हैं. 6 मार्च को उनके आंदोलन के 100 दिन पूरे हो जाएंग. हालांकि इस दौरान कई बार उनकी सरकार के साथ बातचीत हुई, लेकिन कोई नतीजा नहीं निकल नहीं सका. किसानों को विपक्षी नेताओं के अलावा कई मशहूर हस्तियों का भी समर्थन मिल रहा है. अब इस किसान आंदोलन को लेकर मशहूर डायरेक्टर राकेश ओमप्रकाश मेहरा (Rakeysh Omprakash Mehra) एक फिल्म भी बनाने जा रहे हैं. दिल्ली 6' और 'रंग दे बसंती' जैसी सुपरहिट फिल्मों का निर्देशन करने चुके राकेश ओमप्रकाश मेहरा ने अब किसानों के मुद्दे पर फिल्म बनाने का ऐलान किया.
राकेश ने हाल ही में एक इंटरव्यू में बताया कि वो किसान के मुद्दे को लेकर एक फिल्म बनाने की तैयारी कर रहे हैं. उन्होंने बताया कि अभी इस फिल्म की स्क्रिप्ट पर काम चल रहा है. उन्होंने फिल्म से जुड़ी कई और दिलचस्प बातें भी शेयर की हैं. हालांकि फिल्म का काम कब शुरू होगी इस पर उन्होंने कोई जानकारी नहीं दी.
उन्होंने बताया कि फिल्म किसान को लेकर बनाई जा रही है. उन्होंने बताया कि फिल्म में दिखाया जाएगा कि किसान को किन-किन समस्याओं का सामना करना पड़ता है. उन्होंने कहा कि किसानों के मामले में मुझे केवल दो बीघा जमीन फिल्म याद आती है. मैं उम्मीद करता हूं कि हम एक ऐसी ही छाप छोड़ने वाली फिल्म बना सकेंगे.
उन्होंने कहा कि फिल्म की स्क्रिप्टिंग का काम खत्म होते ही, इसकी कास्टिंग का काम शुरू हो जाएगा. फिलहाल अभी ये भी तय नहीं है कि इस फिल्म में दिल्ली में हुई हिंसा का जिक्र किया जाएगा या नहीं.
किसानों पर पहले भी बन चुकी हैं फिल्में
हिंदी फिल्म इंडस्ट्री के शुरूआती दौर में आई फिल्म 'दो बीघा जमीन' भारत के किसानों के असली दर्द को सिल्वर स्क्रीन पर उकेरने वाली फिल्म थी. दिल को छू लेने वाली इस फिल्म की कहानी देखकर आपको भारत के किसानों की मूल समस्या का अहसास होगा. भारत के किसानों का मानवीय चित्रण पेश करने वाली ये फिल्म देखकर आप भावुक हो जाएंगे.
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किसानों को लेकर बॉलीवुड में पहले भी कई फिल्में बन चुकी हैं. किसानों से जुड़ी पहली फिल्म 65 साल पहले यानी 1953 में आई थी, तब से अब तक इस मुद्दे पर की फिल्में बन चुकी हैं. मदर इंडिया से लेकर कड़वी हवा तक सभी फिल्मों में देश के अन्नदाता की हालात को बयां किया जा चुका है. साल 1953 में आई फिल्म 'दो बीघा जमीन' में किसानों की दशा को दिखाने का प्रयास किया गया था. फिल्म में दिखाया गया था कि किस तरह से साहूकारों द्वारा कर्ज देकर किसानों की जमीन को हड़प लिया जाता था.
साल 1957 में आई फिल्म 'मदर इंडिया' में देश का पेट भरने वाले अन्नदाता की भूख और बेबसी को दिखाया गया था.
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इस फिल्म में एक महिला किसान की कहानी दिखाई गई थी. इसे राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार से नवाजा गया था. किसानों की दुर्दशा पर बनी फिल्मों की बात हो तो भारत कुमार के नाम से मशहूर अभिनेता मनोज कुमार की फिल्म 'उपकार' को भी कोई नहीं भूल सकता है. फिल्म में एक सीधे-साधे किसान को कैसे ठगा जाता है, इसे बेहतर ढ़ंग से दिखाया गया है. इसके अलावा फिल्म 'पीपली लाइव' और 'लगान' में भी किसानों की बदहाली को दिखाया गया था.
HIGHLIGHTS
- अन्नदाता की बदहाली पर पहले भी बन चुकी हैं कई फिल्में
- फिल्म 'दो बीघा जमीन' में किसानों की दुर्दशा दिखाने का प्रयास किया गया
- 'पीपली लाइव' और 'लगान' में भी किसानों की बदहाली को दिखाया गया
Source : News Nation Bureau