टॉम आल्टर को जब भी सेट पर खाली समय मिलता था, वे किताबें पढ़ा करते थे. आगामी फिल्म 'किताब' के निर्देशक कमलेश मिश्रा ने यह बात कही है, जिसमें मरहूम अभिनेता ने काम किया है. यह एक 25 मिनट की फिल्म है, जिसमें लोगों पर इलेक्ट्रॉनिक डिवाइसों के असर को दिखाया जा रहा है, जिससे लोग किताबों से दूर होते जा रहे हैं.
मिश्रा ने एक बयान में कहा, "जब मैंने इस कहानी पर काम करने का फैसला किया तो यह केवल अभिनेता के बारे में नहीं थी.. एक लाइब्रेरियन के चरित्र की गंभीरता और तीव्रता को सामने लाना एक चुनौती थी क्योंकि फिल्म में मैं 20 साल के कालखंड को दिखाना चाहता था और इसमें कोई डॉयलॉग नहीं था. इसलिए फिल्म के प्रत्येक फ्रेम को जादुई बनाना था."
उन्होंने कहा, "मैंने टॉम अल्टर सर के साथ पहले भी अन्य परियोजनाओं पर काम किया था और मैंने हमेशा उन्हें अपने हाथों में किताब लाते/ले जाते देखा. जब भी सेट पर उनको खाली वक्त मिलता था, वे किताबें पढ़ा करते थे. जब मैंने उन्हें 'किताब' की कहानी सुनाई तो उनमें मैं जॉन के चरित्र की कल्पना कर रहा था और वे खुद इस भूमिका से काफी प्रभावित थे. उन्होंने कहा कि यह भूमिका उन्हीं के लिए लिखी गई है. उन्होंने फिल्म में काम करने के लिए हामी भर दी."
निर्देशक ने कहा कि टॉम ने ना सिर्फ एक अभिनेता के रूप में काम किया, बल्कि मैसूर के लोकेशन की भी व्यवस्था की. जाने-माने थिएयर और फिल्म अभिनेता टॉम आल्टर की साल 2017 में मौत हो गई. वे लंबे समय से स्किन कैंसर से जूझ रहे थे. वे 67 साल के थे.
Source : IANS