विवेक अग्निहोत्री (Vivek Agnihotri) की फिल्म द कश्मीर फाइल्स (The kashmir files) को दर्शकों ने खूब प्यार दिया है. फिल्म के हर के किरदार ने अपनी एक्टिंग से फिल्म में जान डाल दी है. फिल्म की कहानी कश्मीरी पंडितों के नरसंहार पर आधारित है. रिपोर्ट के अनुसार इस फिल्म की कहानी एक सच्ची घटना पर है. फिल्म (The kashmir files) में कश्मीरी पंडितों के दर्द और संघर्ष को बखूबी दर्शाया गया है. हाल ही में फिल्म के डायरेक्टर ने एक मीडिया कॉन्फ्रेंस के दौरान फिल्म से जुड़ी कई सारी बातों को शेयर किया है. वो अपनी बातों को बेझिझक होकर लोगों के सामने रख रहे थे.
विवेक अग्निहोत्री ने आतंकवाद पर की चर्चा -
विवेक अग्निहोत्री (Vivek Agnihotri) ने बताया, 'चिंता वास्तव में आतंकवाद है. फिल्म में मुस्लिम शब्द का उपयोग नहीं हुआ है. फिल्म में पाकिस्तान या पाकिस्तानी शब्द का भी उपयोग नहीं किया गया है. इस फिल्म में सिर्फ आतंकवाद के खिलाफ चर्चा की गई है. ऐसे में इसे टेररफोबिक क्यों नहीं कहा गया? 'द कश्मीर फाइल्स' से पहले 'फिजा', 'फना', 'मिशन कश्मीर' आदि जैसी फिल्में भी कश्मीर पर ही बनी थीं, लेकिन इन्हें कभी इस्लामोफोबिक नहीं कहा गया. इसका मतलब यह है कि अगर आप आतंकवादी को सही बोलते हैं, तो आप मानवता के मसीहा हैं, लेकिन अगर आप आतंकवाद के खिलाफ बात करते हैं, तो आप इस्लामोफोबिक हैं. उनकी ये बातें सोशल मीडिया पर खूब चर्चा बटोर रही हैं'.
यह भी जानिए - अजय देवगन ने अपनी और शाहरुख खान की लड़ाई पर तोड़ी चुप्पी
फिल्म के बारे में बात करते हुए विवेक (Vivek Agnihotri) ने कहा- फिल्म का पहला सीन हिंदुओं और मुसलमानों के बीच भाईचारे को बखूबी दिखाता है. इस सीन में एक हिंदू लड़के शिव को बुरे लोग पीट रहे होते हैं और अब्दुल उसे जाकर बचाता है. वहीं दूसरे दृश्य में पुष्कर नाथ ने अब्दुल की जान बचाई. इसके आगे वो कहते हैं कि फिल्म के प्रोड्यूसर एक मुसलमान है. क्या वो इस्लामोफोबिक है? फिल्म देश में इस्लामोफोबिया को बढ़ावा नहीं दे रही है. बल्कि आतंकवाद के खिलाफ बात करती है.