Fish Consumption in India: मछली का सेवन स्वास्थ्य के लिए बहुत फायदेमंद होता है. मछली अच्छी प्रकार के प्रोटीन, विटामिन और खनिजों का एक अच्छा स्त्रोत होती है. यह ओमेगा-3 फैटी एसिड का अच्छा स्रोत भी होती है, जो हृदय स्वास्थ्य को बढ़ावा देता है. मछली में पोटेशियम, सेलेनियम, और विटामिन डी भी होते हैं, जो शरीर के लिए महत्वपूर्ण होते हैं. मछली के सेवन से मानसिक स्वास्थ्य और ब्रेन फ़ंक्शन भी बेहतर होते हैं. इसमें मौजूद ओमेगा-3 फैटी एसिड में मानसिक संतुलन को सुधारने और डिप्रेशन को कम करने की क्षमता होती है. हालांकि, मछली को सही ढंग से पकाना और साफ करना महत्वपूर्ण है, क्योंकि अन्यथा इसमें मौजूद बैक्टीरिया या अन्य कीटाणुओं के कारण स्वास्थ्य संबंधी समस्याएं हो सकती हैं. इसलिए, सही से पकाई और स्वच्छ मछली का सेवन करना अत्यंत महत्वपूर्ण है.
राज्यवार तुलना: त्रिपुरा में 99.35% लोग मछली खाते हैं. यह भारत में मछली का सेवन करने वाला सबसे बड़ा राज्य है. मिजोरम में 98.57% लोग मछली खाते हैं. यह भारत में मछली का सेवन करने वाला दूसरा सबसे बड़ा राज्य है. अरुणाचल प्रदेश में 97.65% लोग मछली खाते हैं. यह भारत में मछली का सेवन करने वाला तीसरा सबसे बड़ा राज्य है. मेघालय में 97.23% लोग मछली खाते हैं. यह भारत में मछली का सेवन करने वाला चौथा सबसे बड़ा राज्य है. नागालैंड में 96.81% लोग मछली खाते हैं. यह भारत में मछली का सेवन करने वाला पांचवां सबसे बड़ा राज्य है.
कम से कम मछली का सेवन करने वाले राज्य:
पंजाब में 17.45% लोग मछली खाते हैं. यह भारत में मछली का सेवन करने वाला सबसे छोटा राज्य है. हरियाणा में 20.55% लोग मछली खाते हैं. यह भारत में मछली का सेवन करने वाला दूसरा सबसे छोटा राज्य है. राजस्थान में 22.65% लोग मछली खाते हैं. यह भारत में मछली का सेवन करने वाला तीसरा सबसे छोटा राज्य है. गुजरात में 24.75% लोग मछली खाते हैं. यह भारत में मछली का सेवन करने वाला चौथा सबसे छोटा राज्य है. हिमाचल प्रदेश में 26.85% लोग मछली खाते हैं. यह भारत में मछली का सेवन करने वाला पांचवां सबसे छोटा राज्य है. ये आंकड़े केवल अनुमान हैं.
मछली खाने के फायदे स्वास्थ्य लाभ: मछली प्रोटीन, ओमेगा-3 फैटी एसिड और अन्य पोषक तत्वों का एक अच्छा स्रोत है. यह हृदय रोग, स्ट्रोक, अवसाद और अन्य स्वास्थ्य समस्याओं के खतरे को कम करने में मदद कर सकता है.
पर्यावरणीय प्रभाव: मछली पकड़ने का पर्यावरण पर महत्वपूर्ण प्रभाव पड़ सकता है. अधिक मछली पकड़ने से मछली की आबादी में गिरावट, समुद्री जीवन का नुकसान और अन्य समस्याएं हो सकती हैं.
यह महत्वपूर्ण है कि हम मछली का सेवन करते समय पर्यावरणीय प्रभावों को ध्यान में रखें.
स्थानीय रूप से पकड़ी गई मछली खाएं. स्थानीय रूप से पकड़ी गई मछली का पर्यावरण पर कम प्रभाव पड़ता है. टिकाऊ मछली पकड़ने की प्रथाएं मछली की आबादी को संरक्षित करने और समुद्री जीवन को नुकसान कम करने में मदद करती हैं. अपनी मछली की खपत कम करने से पर्यावरण पर आपके द्वारा किए जाने वाले प्रभाव को कम करने में मदद मिल सकती है. हम मछली का सेवन करते समय पर्यावरणीय प्रभावों को ध्यान में रखें.
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Source : News Nation Bureau