इंटरपोल ने अपने 194 सदस्य देशों की कानून प्रवर्तन एजेंसियों को अलर्ट जारी करते हुए कहा है कि कोरोना वैक्सीन पर संगठित अपराधियों की नजर है और वे किसी भी तरीके से कोरोना वैक्सीन को निशाना बना सकते हैं. इंटरपोल के महासचिव जर्गेन स्टॉक ने कहा, सरकारें जहां वैक्सीन को लांच कराने और उसके उपयोग की तैयारी में जुटी हैं, वहीं अपराधी इन वैक्सीन की सप्लाई चेन में घुसपैठ की योजना बना रहे हैं. अपराधी फर्जी वेबसाइटों के जरिए भी जनता को निशाना बना रहे होंगे, जिससे लोगों के स्वास्थ्य और उनके जीवन को गंभीर खतरा पैदा हो सकता है."
बुधवार को इंटरपोल द्वारा जारी किए गए बयान में ऑरेंज नोटिस के साथ 'कोविड-19 और फ्लू के नकली रूप, उनकी चोरी और अवैध विज्ञापन' के संबंध में संभावित आपराधिक गतिविधि की बात कही गई है. इसमें उन अपराधों के उदाहरण भी शामिल किए गए हैं जहां लोगों ने नकली टीकों का विज्ञापन, बिक्री और अवैध प्रशासकीय काम किए हैं.
उन्होंने कहा, कोविड-19 के कई टीके एप्रूव होने और दुनिया भर में वितरण के करीब हैं. ऐसे में इनकी आपूर्ति श्रृंखलाओं की सुरक्षा सुनिश्चित करना और नकली उत्पादों को बेचने वाली अवैध वेबसाइटों की पहचान करना जरूरी होगा. इंटरपोल ने कहा, कानून प्रवर्तन और स्वास्थ्य नियामक निकायों के बीच समन्वय लोगों की सुरक्षा सुनिश्चित करने और समुदायों की भलाई के लिए महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा.
महासचिव ने आगे कहा, "यह जरूरी है कि जितना संभव हो सके कानून प्रवर्तन एजेंसियां तैयार हो जाएं, ताकि कोविड-19 वैक्सीन से जुड़े सभी प्रकार की आपराधिक गतिविधियों पर अंकुश लगाया जा सके. इसीलिए इंटरपोल ने यह वैश्विक चेतावनी जारी की है."
कोविड से संबंधित धोखाधड़ी को बढ़ते देख इंटरपोल ने जनता को सलाह दी है कि वे चिकित्सा उपकरणों या दवाओं की खोज के लिए ऑनलाइन सर्च करते समय विशेष ध्यान रखें. इंटरपोल की साइबर क्राइम यूनिट द्वारा किए गए एक विश्लेषण से पता चला है कि ऑनलाइन फार्मेसी से जुड़ी 3,000 वेबसाइटों में से 1,700 को साइबर खतरा है. ऑनलाइन घोटालों से बचने के लिए, सतर्क रहना महत्वपूर्ण. लिहाजा लोग कोविड-19 के संबंध में नई स्वास्थ्य सलाह के लिए हमेशा अपने राष्ट्रीय स्वास्थ्य अधिकारियों या विश्व स्वास्थ्य संगठन की वेबसाइट देखें.
Source : IANS