पीसीओएस (PCOS) या पॉलीसिस्टिक ओवेरियन सिंड्रोम (PolyCystic Ovarian Syndrome) एक जीवन शैली की बीमारी है जो रिप्रोडक्टिव ऐज की लगभग दस प्रतिशत महिलाओं को प्रभावित करती है. हार्मोनल असंतुलन (hormonal imbalance) के प्राथमिक लक्षणों में बिगड़ा हुआ मासिक धर्म चक्र,मिजाज का बिगड़ना, चेहरे पर अत्यधिक बाल और वजन बढ़ने जैसी समस्याएं शामिल हैं. हार्मोनल असंतुलन भी वजन बढ़ने के मुद्दों को जन्म देता है जिसमें स्वस्थ आहार और नियमित कसरत के बावजूद भी व्यक्ति का वजन बढ़ जाता है या फिर बिना किसी कारण के घट जाता है. PCOS की समस्या से लगभग हर महिला परेशान है.
आपको बता दें यह रोग इंसुलिन प्रतिरोध से भी जुड़ा है. यह एक ऐसी स्थिति है, जिसमें पैंक्रियास अधिक मात्रा में इंसुलिन का उत्पादन करता है जिसके कारण ब्लड शुगर लेवल बढ़ सकता है और शुगर की बीमारी हो सकती है. मुख्य रूप से हार्मोनल असंतुलन और पीसीओएस के कारण महिला को बांझपन और कॉम्प्लीकेशन्स का सामना करना पड़ता है. पीसीओएस की समस्य से निजात पाने के लिए सही भोजन को अपने आहार में शामिल करना बेहद जरूरी है. तो चलिए हम आपको बताते हैं कि PCOS से पीड़ित होने पर आपको क्या खाना चाहिए और क्या नहीं!
फाइबर, प्रोटीन युक्त फल और सब्जियां का सेवन
अगर आप पर्याप्त मात्रा में सब्जियां और फल का सेवन करते हैं तो आपके शरीर में फाइबर, विटामिन, खनिज और एंटीऑक्सिडेंट की मात्रा बढ़ेगी जिसके कारण आपका स्वास्थ्य अच्छा रहता है. आपको इनके साथ- साथ हल्दी, अदरक, लहसुन, तुलसी और लाल मिर्च सहित अन्य खाद्य पदार्थों को भी अपने आहार में शामिल करना चाहिए. साथ ही बादाम और अन्य ड्राई- फ्रूट्स के जरिए अपने आहार में ओमेगा-3 फैटी एसिड को शामिल करने से भी आपको PCOS से निजात पाने में मदद मिलता है.
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PCOS में क्या न खाएं?
अक्सर यह कहा जाता है कि डेयरी या जिन खानों में ग्लूटेन होता है, उन्हें अपने आहार से PCOS में पूरी तरह से बाहर रखना चाहिए. हालांकि यह सलाह नहीं दी जाती है कि अपने आहार से संपूर्ण खाद्य समूह को हटा दें. इसके साथ- साथ आपको अपने भोजन में अतिरिक्त चीनी के स्तर को भी ठीक से प्रबंधित करना चाहिए ताकि असंतुलन का सामना न करना पड़े. PCOS में सफेद चीनी, शीतल पेय, मेपल सिरप, डेजर्ट, कैंडी और फास्ट फूड से पूरी तरह से दूर रहने की सलाह दी जाती है. पीसीओएस से पीड़ित महिलाओं को शराब के सेवन से भी बचना चाहिए. अगर आप इन चीजों पर नियंत्रण कर लेती हैं तो 70% आपकी इस समस्या का हल हो सकता है.