इस दुर्लभ बीमारी से हुई Satya Nadella के बेटे की मौत, जानिए उसकी कैसे करें पहचान और क्या हैं लक्षण?

जन्म लेते ही बच्चा रोता नहीं, उसमे कोई हरकत नहीं होती, वो चिल्ला नहीं पाता, तो ऐसे में कुछ लोग थोड़े समय का इंतज़ार करते हैं. कुछ समय का इंतज़ार बहुत भारी पड़ सकता है. इस हरकत का नाम सेरेब्रल पालसी हो सकता है.

author-image
Nandini Shukla
एडिट
New Update
nadela son

Cerebral Palsy ( Photo Credit : news nation)

Advertisment

बहुत बार ऐसा होता है कि जन्म लेते ही बच्चा रोता नहीं, उसमे कोई हरकत नहीं होती, वो चिल्ला नहीं पाता, तो ऐसे में कुछ लोग थोड़े समय का इंतज़ार करते हैं. बता दें कि कुछ समय का इंतज़ार बहुत भारी पड़ सकता है. इस हरकत का नाम सेरेब्रल पालसी (Cerebral Palsy) हो सकता है. हल्के शुरुआत में ही इस बीमारी का इलाज कराना इस बीमारी को खत्म कर सकता है. कुछ हेल्थ एक्सपर्ट्स का कहना है कि इस सेरेब्रल पालसी की पहचान जरूरी है. आमतौर पर लोग बच्चों की कुछ हरकतों पर ध्यान नहीं देते. और जब वह 5 या 6 साल के होते हैं तब तक उनकी बीमारी का इलाज होना बहुत मुश्किल हो जाता है.  

यह भी पढ़ें- नमक के बारें में कुछ बातें जानकार रेह जाएंगे हैरान, कहीं आपकी बीमारी का कारण नमक तो नहीं ?

बता दें कि सॉफ्टवेयर कंपनी माइक्रोसॉफ्ट (Microsoft Corp) के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (Chief Executive Officer) सत्या नडेला (Satya Nadella) और उनकी पत्नी अनु के बेटे जैन नडेला (Zain Nadella) की सोमवार सुबह मृत्यु हो गई है. जैन नडेला 26 वर्ष के थे. जैन नडेला को जन्म से ही सेरेब्रल पाल्सी नामक (Cerebral Palsy) बीमारी थी. तो आइये जानते हैं इस बीमाई के बारें में. इस बीमारी को समय रहते कैसे पहचाना जा सकता है और इस बीमारी का इलाज क्या है. 

सेरेब्रल पाल्सी (Cerebral Palsy) बीमारी मांसपेशियों में ढीलेपन और दिमाग का कुछ हिस्सा डैमेज होने के कारण होती है. इस बीमारी का इलाज कसरत, एक्ससरसाइज और कुछ चीज़ों के जरिये से मांसपेशियों में ताकत भरी जाती है, साथ ही दिमाग के कमजोर हिस्से धीरे-धीरे ठीक किए जाते हैं. करीब तीन से पांच महीने के अंदर मरीज़ ठीक होने की स्थिति में आता है. 

यह भी पढ़ें- दांतो के दर्द से हैं परेशान तो उखड़वाने की बजाए अब अपनाएं ये घरेलू उपाए

बीमारी का रूप पहचानकर करते हैं इलाज-

सेरेब्रल पालसी भी कई तरह की होती है मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक किसी को देखने की समस्या होती है तो किसी का दिमाग काम नहीं करता.  किसी को शरीर की हरकतों पर काबू नहीं रहता. ग्लास पकड़ना, बाल पकड़ना, बुलाने और बैठने के इशारे करना, किसी से बात करना, खुद से कपड़े बदलना, काम करना, कहीं बाहर जाना जैसी चीजें प्रैक्टिस से सिखाई जाती हैं, साथ ही मांसपेशियों की अकड़न कम करने के लिए मौजूद कसरत या मशीनों का सहारा लिया जाता है.

 publive-image

इस बीमारी को ठीक करने के कई रास्ते हैं. इस बीमारी को पोजिशनिंग, एडवांस फिजियोथेरेपी और सर्जरी के जरिए ठीक किया जा सकता है. जरूरी है कि जन्म से ही बच्चों की हरकतों पर ध्यान दिया जाए और जल्द इलाज शुरू किया जाए. 

बीमारी के लक्षण-

-जन्म के वक्त बच्चे का नहीं रोना
-तीन माह में गर्दन न संभाल पाना
-आठ माह तक बैठना न शुरू हो
-डेढ़ साल में भी चलने में दिक्क्त 
-अजीब सी हरकतें करना, ठीक से खा नहीं पाना 

रोग के कारण-

-डिलेवरी होते ही बच्चे को सास लेने में दिक्क्त होना. 
-देरी से सांस लेने में ब्रेन डैमेज हो जाता है.
-बच्चे के जन्म के वक्त गंदा पानी बच्चे के मुंह में जाना. 
-प्री-मेच्योर डिलेवरी होना.

 

latest health news trending news sa satya nadella microsoft Microsoft CEO Satya Nadella celebral palsy Zain Nadella Microsoft Chief Executive Officerutive officer जैन नडेला की बीमारी का नाम क्या था क्या होता है सेलेब्रल पाल्सी treatment o celebral palsy
Advertisment
Advertisment
Advertisment