वैज्ञानिकों ने इस तरह के कैंसर के इलाज के लिए खोजी नई श्रेणी की संभावित दवा

अमेरिका में प्रतिष्ठित क्लीवलैंड क्लीनिक के वैज्ञानिकों के एक समूह ने एक नई श्रेणी की संभावित दवाइयों की खोज की है, जो कुछ खास तरह के रक्त और अस्थि मज्जा के कैंसर के उपचार में कारगर साबित हो सकती हैं.

author-image
Dalchand Kumar
New Update
cancer treatment

वैज्ञानिकों ने इस तरह के कैंसर के इलाज के लिए खोजी संभावित दवा( Photo Credit : फाइल फोटो)

Advertisment

अमेरिका में प्रतिष्ठित क्लीवलैंड क्लीनिक के वैज्ञानिकों के एक समूह ने एक नई श्रेणी की संभावित दवाइयों की खोज की है, जो कुछ खास तरह के रक्त और अस्थि मज्जा के कैंसर के उपचार में कारगर साबित हो सकती हैं. वैज्ञानिकों के इस समूह में एक भारतीय-अमेरिकी भी शामिल हैं. ब्लड कैंसर डिस्कवरी के ताजा संस्करण में पहली बार प्रकाशित हुआ और दशक भर चला यह अनुसंधान ‘क्लीवलैंड क्लीनिक डिपार्टमेंट ऑफ ट्रांसलेशनल हेमटोलॉजी एंड ओंकोलॉजी रिसर्च ’ के जारोसलॉ मैकीजेवस्की और उनके सहयोगी बबल कांत झा ने किया है.

यह भी पढ़ें: जायडस कैडिला ने कोविड-19 टीके के तीसरे चरण के क्लिनिकल परीक्षण के लिये सरकर से मंजूरी मांगी

वैज्ञानिकों के अध्ययन में ‘ल्यूकेमिया’ कोशिकाओं को तरजीही तौर पर निशाना बनाने और उनका उन्मूलन करने की एक नयी औषधीय रणनीति पर काम किया गया. ल्यूकेमिया एक रक्त कैंसर है, जो शरीर में श्वेत कोशिकाओं की संख्या बढ़ने से होता है. वहीं, माईलोइड ल्यूकेमिया ऐसा कैंसर है जो अस्थि मज्जा की रक्त बनाने वाली कोशिकाओं में शुरू होता है. माईलोइड ल्यूकेमिया की प्रमुख वजह टीईटी2 जीन में पाई गई, जिस पर दोनों वैज्ञानिकों ने पिछले दशक में अनुसंधान किया था.

डॉ मैकीजेवस्की ने कहा, 'हमने पाया कि टीईटीआई76 नाम का एक कृत्रिम अणु घातक कैंसर कोशिकाओं को रोग के शुरूआती चरण में निशाना बनाने और उन्हें नष्ट करने में सक्षम है.' वहीं, झा ने कहा, 'हमने 2 एचजी (2-हाइड्रोक्सीग्लुटरेट) की प्राकृतिक जैविक क्षमताओं से सबक लिया.' उन्होंने कहा, 'हमनें अणु का अध्ययन किया और एक अनूठा छोटा अणु बनाया.'

यह भी पढ़ें: Pneumonia vaccine: देश में न्यूमोनिया का पहला टीका विकसित, जानिए बाजार में कब से मिलेगी दवा 

क्लीवलैंड क्लीनिक ने कहा है कि आगे के अध्ययन रोगियों में छोटे अणु के कैंसर से लड़ने की क्षमताओं की जांच करने के लिए महत्वपूर्ण होंगे. झा ने कहा, 'हम अपने अनुसंधान के नतीजों के बारे में आशावादी हैं, जिसने न सिर्फ यह प्रदर्शित किया है कि टीईटी2 म्यूटेशन के साथ कोशिकाओं की वृद्धि और प्रसार को रोका जा सकता है बल्कि सामान्य स्टेम और जैविक कोशिकाओं को जीवित रखने में मदद करता है.'

Source : Bhasha

cancer कैंसर cancer treatment
Advertisment
Advertisment
Advertisment