सर्दियों में सुबह-सुबह उठने का मन किसी का भी नहीं करता. रोज़ ऑफिस जानें वाले लोग सुबह उठकर छुट्टियों का बहाना तैयार करते हैं या फिर देर से जाते हैं क्योंकि सर्दियों का मौसम ऐसा होता है की हर कोई आलस में आ जाता है. सर्दियों में रूम में डिम लाइट और रूम हीटर के साथ सोने का मोहाल ही कुछ अलग एहसास देता है. जब सुबह अलार्म बजता है तब सोचते है कि अभी और कितना सोना बचा है. हालांकि सर्दियों में कुछ लोगों को बहुत नींद आती है कि वो अपनी नींद के लिए अपना कॉलेज नौकरी भी दाव पर लगाने को तैयार हो जाते हैं. लेकिन क्या आपको पता है कि ज्यादा सोना आपके लिए घातक भी हो सकता है. अगर आप सर्दियों में ज्यादा सोते हैं तो इसका मतलब आपके शरीर में किसी चीज़ की कमी है. आइये जानते हैं वो क्या है.
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शरीर में कम धूप लगना
ठंड के मौसम में दिन छोटे और रातें लंबी होती हैं. यही कारण है कि कम सूर्य की रोशनी आपके सिर्केडियन रिदम (circadian rhythm) को गहरे रूप से असर्व करती है. जिससे आपका शरीर अधिक मेलाटोनिन यानी स्लीपिंग हार्मोन को रिलीज़ करता है. इसके कारण आप ज्यादा थका हुआ महसूस करने लगती हैं . सर्दियों में कम धुप लगने से और ज्यादा देर तक सोने से शरीर में कालापन आने लगता है और स्किन फ्रेश नहीं लगती.
कम विटामिन डी
सूरज की रोशनी विटामिन डी का एक अच्छा स्त्रोत है. सिर्फ 10 मिनट के लिए सूरज की धुप लेने से आपके शरीर को फायदा हो सकता है. हालांकि विटामिन डी की कमी से आप सर्दियों में ओवरस्लीपिंग करते हैं.
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मूड में गड़बड़ी
सर्दियों में लोग ज्यादा उदास और अकेला महसूस करते हैं. लोगों के मूड स्विंग्स भी सर्दियों में देखें जाते हैं जिससे वह ज्यादा सो जाते हैं.
सर्दियों में ज्यादा सोना होता है घातक
बहुत ज्यादा सोने से आपका वजन तेजी से बढ़ सकता है. जो लोग 9 से 10 घंटे सोते हैं, उनमें 7 से 8 घंटे सोने वालों का मोटापा 21% तक बढ़ सकता है. एक समय था जब डॉक्टर पीठ दर्द से लेकर सिरदर्द से पीड़ित लोगों को सीधे बिस्तर पर लेटने की सलाह देते थे. जब आप पीठ दर्द का अनुभव करते हैं, तो आपको ओवरस्लीपिंग करने के बदले कुछ प्रभावी व्यायामों का अभ्यास करना चाहिए. इसके साथ ही आप डॉक्टर से भी सलाह ले सकते हैं. इसलिए सर्दियों में ज्यादा सोना आपके शरीर के लिए हानिकारक हो सकता है.