Heart attack: साइलेंट हार्ट अटैक के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं. बीते दिनों टीवी एक्टर विकास सेठी की भी साइलेंट हार्ट अटैक की वजह से महज 48 वर्ष की उम्र में मौत हो गई थी. वह रात में सोए और सुबह जगाने पर पता चला कि उन्होंने दम तोड़ दिया है. कई बार जो लोग बाहर से एकदम स्वस्थ और फिट दिख रहे होते है लेकिन उनके शरीर के भीतर कुछ गड़बड़ी चल रही होती है. साइलेंट हार्ट अटैक (Silent heart attac)में भी कई बार शरीर हमें संकेत देता है. ये संकेत सामान्य लक्षण जैसे सीने में दर्द और बेहोशी से अलग होते हैं. शरीर किसी मुश्किल में होता है तो वह अंदर से छटपटाता है. तब हमें बेचैनी या फिर सांस लेने में तकलीफ महसूस होती है. आइए जानते हैं इसके बारे में.
क्या होता है साइलेंट हार्ट अटैक ? (What is silent heart attack)
साइलेंट हार्ट अटैक को साइलेंट मायोकार्डियल इन्फ्रेक्शन (Silent Myocardial Infarction) कहा जाता है. इसमें लोगों को कई बार कार्डिएक अरेस्ट होने पर सीने में दर्द तक महसूस नहीं होता है. ऐसे में वो इसका अंदाजा तक नहीं लगा पाते हैं.
साइलेंट हार्ट अटैक का क्यों नहीं चलता पता? (Why is silent heart attack not detected)
एक्सपर्ट्स का कहना है कि कई बार लोगों के ब्रेन तक दर्द महसूस कराने वाली नस या स्पाइनल कॉर्ड में समस्या या साइकोलॉजिकल कारणों से इंसान दर्द की पहचान नहीं कर पाता है. ज्यादा उम्र वाले या डायबिटीज के मरीजों में ऑटोनॉमिक न्यूरोपेथी की वजह से दर्द महसूस नहीं होता है.
ये लक्षण भी आते हैं नजर (Silent heart attack symptoms)
- बेचैनी होना
- फ्लू जैसे लक्षण
- सीने में जलन
- अपच, बदहजमी
- सांस लेने में तकलीफ
- सीने या अपर बैक में दर्द
- जबड़े, बांह या पीठ के ऊपरी हिस्से में दर्द
- बहुत ज्यादा थकान होना
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. News Nation इसकी पुष्टि नहीं करता है.)
यह भी पढ़ें: 60 की उम्र के बाद फटाफट कर लें ये काम, शरीर कमजोर होने का जोखिम होगा कम