वित्त मंत्रालय (Finance Ministry) के सूत्रों के मुताबिक 1,377 फर्जी एक्सपोर्टर ने सरकार को 1,875 करोड़ रुपये का चूना लगाया है. दरअसल, इन एक्सपोर्टर ने पहले जीएसटी रिफंड (GST Refund) के लिए दावा किया और अब व्यापारिक ठिकानों से लापता हो गए हैं. सभी एक्सपोर्टर अपने कारोबारी जगहों से लापता चल रहे हैं. इन फर्जी निर्यातकों की सूची में 7 को स्टार एक्सपोर्टर की मान्यता मिली हुई है और इसके अलावा तीन स्टार निर्यातकों के खिलाफ प्रतिकूल रिपोर्ट भी आई है. इन 10 स्टार निर्यातकों ने फर्जी तरीके से 28.3 करोड़ रुपये की आईजीएसटी रिफंड की राशि का दावा किया है.
यह भी पढ़ें: मुकेश अंबानी के इस फैसले से वोडाफोन आइडिया को लग सकता है बड़ा झटका, जानें क्या है मामला
जोखिम वाली निर्यातक सूची में हैं 7,516 निर्यातक
सूत्रों ने नाम न छापने की शर्त पर बताया कि आज की तारीख तक 7,516 निर्यातक जोखिम वाली निर्यातक सूची में हैं. उनमें से 2,830 जोखिमपूर्ण निर्यातकों के 1,363 करोड़ रुपये के आईजीएसटी रिफंड या ड्रॉबैक निलंबित कर दिया गया है. बता दें कि 2,197 जोखिमपूर्ण निर्यातकों के संबंध में प्रतिकूल रिपोर्ट प्राप्त हुई है. सूत्रों के मुताबिक सीबीआईसी ने जोखिम भरे निर्यातकों के खिलाफ 115 करोड़ रुपये के आपराधिक मामलों का पता लगाया गया है. इनमें से अभी तक मिले 234 सप्लायर्स के वैरिफिकेशन में से 82 सप्लायर्स अपनी जगहों से लापता हैं.
यह भी पढ़ें: कोरोना वायरस महामारी से उबरने लगी चीन की अर्थव्यवस्था, पाबंदियां हटने के बाद 3.2 फीसदी की बढ़ोतरी
यहां ध्यान देने वाली बात है कि निर्यातकों को सीमा शुल्क, GST, आयकर और DGFT डेटा के आधार पर विशिष्ट जोखिम संकेतकों के आधार पर "जोखिम भरा" के रूप में पहचाना जाता है. चिन्हित जोखिम भरे निर्यातकों की पहचान के लिए भौतिक और वित्तीय सत्यापन किया जाता है.