सुप्रीम कोर्ट के उत्तर प्रदेश में शिक्षामित्रों का सहायक अध्यापक के रूप में समायोजन रद्द करने का फैसला आने के बाद अब बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह ने शिक्षामित्रों के लिए सहानुभूति जताई है। अमित शाह शनिवार से तीन दिन के लिए यूपी दौरे पर हैं।
अमित शाह ने कहा कि यूपी सरकार इस पूरे मसले पर विचार कर रही है। अमित शाह के मुताबिक, 'सुप्रीम कोर्ट के फैसले से सरकार अलग नहीं जा सकती। लेकिन संगठन और सरकार की सहानुभूति शिक्षामित्रों के साथ है। इनकी समस्या पर विचार किया जा रहा है।'
इससे पहले यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शिक्षामित्रों से शांति और संयम बनाये रखने की अपील करते हुए कहा था कि सरकार उनकी चिंता को लेकर संवेदनशील है और उनके साथ अन्याय नहीं होने देगी।
उन्होंने शिक्षामित्रों की मौजूदा स्थिति के लिए पिछली समाजवादी पार्टी की सरकार को जिम्मेदार ठहराते हुए कहा कि 1 लाख 72 हजार शिक्षामित्रों के समायोजन की कार्यवाही में ही खामी थी, जिसके चलते ही अदालत ने शिक्षामित्रों के समायोजन पर रोक लगा दी है।
शिक्षामित्रों की मांग है कि सरकार उन्हें अन्य पदों पर समायोजित करे। हालांकि, सरकार ने पहले ही स्पष्ट कर दिया है कि वो किसी भी शिक्षामित्र को नहीं हटाएगी। बता दें कि कोर्ट के फैसले के बाद से ही यूपी में शिक्षामित्र अपनी मांगों के लेकर सड़कों पर हैं। अपने-अपने जिलों में शिक्षामित्र मंत्री-विधायकों का घेराव कर रहे हैं। यूपी के हर जिले में शिक्षामित्रों का शनिवार को भी धरना प्रदर्शन जारी रहा।
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पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने यूपी के 1.72 लाख शिक्षामित्रों को टीईटी परीक्षा लिए बिना ही सहायक अध्यापक पर नियुक्त कर दिया था। लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को नियुक्तियों में नियम-कानून का पालन न किए जाने के चलते शिक्षामित्रों का समायोजन रद्द कर दिया था।
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Source : News Nation Bureau