दिल्ली में रविवार को राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन की बैठक हुई. बैठक पार्लियामेंट के लाइब्रेरी बिल्डिंग में हुई. बैठक में NDA के सभी घटक दल शामिल हुए. बैठक में कई मुद्दों पर चर्चा हुई. महाराष्ट्र सरकार निर्माण का मुद्दा सबसे अहम रहा. सभी घटक दलों के बीच समन्वय बनाने के लिए बैठक बुलाई गई थी. बैठक में पीएम मोदी भी मौजूद रहे. इस दौरान केंद्रीय मंत्री और रिपब्लिक पार्टी ऑफ इंडिया के प्रमुख रामदास अठावले ने महाराष्ट्र में सरकार निर्माण को लेकर बीजेपी राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह से मध्यस्थता करने की गुजारिश की.
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Union Minister Ramdas Athawale: I told Amit bhai (BJP President Amit Shah) that if he mediates then a way can be found out to which he (Amit Shah) replied "don't worry, everything will be fine. BJP & Shiv Sena will come together to form government". #Maharashtra pic.twitter.com/JMIPnQJsuM
— ANI (@ANI) November 17, 2019
उन्होंने कहा कि अगर अमित शाह इस मामले में मध्यस्थता करते हैं तो कोई ना कोई रास्ता निकल सकता है. रामदास अठावले को जवाब देते हुए अमित शाह ने कहा कि चिंता मत करो. सब ठीक हो जाएगा. महाराष्ट्र में बीजेपी-शिवसेना की ही सरकार बनेगी. सरकार बनाने को लेकर शिवसेना बीजेपी के साथ आएगी. इसके साथ ही एनडीए की बैठक में कई और मुद्दे गरम रहे. इस दौरान लोक जनशक्ति पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष चिराग पासवान ने कहा कि हमने प्रधानमंत्री मोदी (Prime Minister Modi) से एनडीए कोर्डिनेशन कमेटी बनाने की मांग की है. हमने ये भी निवेदन किया है कि NDA कन्वीनर (संयोजक) (NDA convenor) नियुक्ति होनी चाहिए. जिससे घटक दलों के बीच बेहतर समन्वय बन सके.
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बता दें कि महाराष्ट्र में चुनाव नतीजे के 24 दिन बाद भी सरकार का गठन नहीं हुआ. किसी भी पार्टी को पूर्ण बहुमत नहीं होने वहीं इस बीच मुंबई में मेयर पद के चुनाव को लेकर चर्चाएं होने लगी हैं. बीजेपी और शिवसेना के बीच गठबंधन टूटने के बाद अब दोनों दलों के लिए यह पहली परीक्षा है. 22 नवंबर को मुंबई में मेयर का चुनाव है. इस लेकर एनसीपी ने कहा कि अगर मेयर चुनाव में शिवसेना चाहेगी तो एनसीपी उसे समर्थन करने को तैयार है, क्योंकि शिवसेना ने भाजपा से सारे रिश्ते तोड़ लिए हैं.
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बता दें कि मुंबई में ढाई-ढाई साल के अंतराल में मेयर चुना जाता है. इससे पहले फरवरी 2017 में भाजपा के समर्थन से शिवसेना के उम्मीदवार विश्वनाथ महादेश्वर ने जीत हासिल की थी और मुंबई के मेयर बने थे. विश्वनाथ महादेश्वर का कार्यकाल इस साल सितंबर में खत्म हो रहा था, लेकिन विधानसभा चुनाव से उनका कार्यकाल नवंबर तक बढ़ा दिया गया था, अब वहां मेयर का चुनाव हो रहा है.