सेना प्रमुख जनरल बिपिन रावत ने हाल ही में संयुक्त राष्ट्र द्वारा जम्मू-कश्मीर में मानवाधिकार हनन को लेकर जारी रिपोर्ट को ख़ारिज़ कर दिया है। रावत ने कहा कि भारतीय सेना और उनके मानवाधिकार रिकॉर्ड को पूरी दुनिया जानती है।
उन्होंने कहा, 'पूरी दुनिया हमारे मानवाधिकार रिकॉर्ड को जानती है। कुछ रिपोर्ट प्रेरित होती है।'
रावत ने इस रिपोर्ट पर ज़्यादा तवज्जों न देने की अपील करते हुए कहा, 'मैं भारतीय सेना के मानवाधिकार रिकॉर्ड पर कुछ नहीं बोलूंगा। कश्मीर के लोगों से लेकर अंतरराष्ट्रीय समुदाय के लोग भी इससे भली-भांती परिचित हैं।'
बता दें कि हाल ही में संयुक्त राष्ट्र ने रिपोर्ट जारी कर जम्मू-कश्मीर और पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर दोनों में ही कथित तौर पर मानवाधिकार उल्लंघन की बात कही है। संयुक्त राष्ट्र ने इन मानवाधिकार उल्लंघनों की अंतर्राष्ट्रीय जांच की मांग की है।
ऐसा पहली बार हुआ कि मानवाधिकार उल्लंघन को लेकर संयुक्त राष्ट्र की तरफ से कश्मीर पर कोई रिपोर्ट आई है। 49 पन्नों के इस रिपोर्ट में सीमा के दोनों ओर की स्थिति को लेकर सवाल उठाया है।
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इस रिपोर्ट से भारत की स्थिति सहज नहीं है क्योंकि पाकिस्तान ह्यूमन राइट्स काउंसिल का सदस्य है और वो रिपोर्ट में कई तरह के फेरबदल कर सकता है। जबकि भारत के लिये ऐसा करना मुश्किल होगा क्योंकि वो काउंसिल का सदस्य नहीं है।
कई देशों ने रिपोर्ट तैयार करने के लिये डेटा कलेक्शन के तरीके को गलत करार दिया है।
इस रिपोर्ट को दूर से ही तैयार किया गया है, इसके लिये ज़मीनी तहकीकात और लोगों से पूछताछ नहीं की गई है। जो भी लिखा गया है वो कुछ लोगों से बातचीत और मीडिया रिपोर्ट के आधार पर कहा गया है।
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Source : News Nation Bureau