अरुणाचल में आगामी विधानसभा चुनाव में नेशनल पीपल्स पार्टी ने अकेले चुनावी मैदान में उतरने का फैसला किया है. एनपीपी अभी भारतीय जनता पार्टी नेतृत्व वाले पूर्वोत्तर लोकतांत्रिक गठबंधन का हिस्सा है. नेशनल पीपल्स पार्टी के अध्यक्ष और मेघालय के मुख्यमंत्री कोनराड संगमा ने कहा, एनपीपी ने एनईडीए का हीसा रहते हुए अरुणाचल में ज्यादा से ज्यादा विधानसभा सीटों पर अकेले लड़ने की योजना बनाई है. उन्होंने आगे कहा, 'हर पार्टी को उनकी पहचान बनाये रखने का अधिकार है, जो नेशनल पीपल्स पार्टी करेगी.'
संगमा ने कहा, 'अरुणाचल में बीजेपी सकरकार का हिस्सा रहने के बावजूद एनपीपी अकेले विधानसभा चुनाव लड़ेगी.' बता दें कि अरुणाचल प्रदेश में लोकसभा चुनाव के साथ विधानसभा चुनाव होने हैं. बता दें कि मेघालय के मुख्यमंत्री संगमा ने नागरिकता (संशोधन) विधेयक के लोकसभा में पारित होने को दुर्भाग्यपूर्ण बताया. उन्होंने साथ में यह भी कहा था कि वह बीजेपी से संबंध तोड़ने के मुद्दे पर एनपीपी के नेताओं से चर्चा करेंगे. संगमा इस विधेयक के विरोध में है.
लोकसभा में हुआ पारित
लोकसभा में कांग्रेस और तृणमूल कांग्रेस सहित कई विपक्षी दलों के विरोध के बावजूद नागरिकता संशोधन विधेयक, 2019 पारित हो गया. यह विधेयक बांग्लादेश, पाकिस्तान और अफगानिस्तान के छह गैर मुस्लिम अल्पसंख्यक समूहों के पात्र आव्रजकों को भारतीय नागरिकता हासिल करने में आ रही बाधाओं को दूर करने का प्रावधान करता है.
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क्या है विधेयक
विधेयक में बांग्लादेश, पाकिस्तान और अफगानिस्तान के गैर-मुस्लिम अल्पसंख्यकों को नागरिकता देने का प्रावधान है.
मेघालय में प्रदर्शन
नागरिकता (संशोधन) विधेयक 2016 के विरोध में पूर्वोत्तर छात्र संगठन (एनईएसओ) के मंगलवार को सुबह से शाम तक के बंद के दौरान मेघालय में सामान्य जनजीवन थम गया. राज्य के लगभग सभी सरकारी प्रतिष्ठान और शिक्षा संस्थान बंद रहे. सार्वजनिक परिवहन भी सड़कों से दूर रहा.
Source : News Nation Bureau