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लोकसभा चुनाव

Ayodhya: राम मंदिर उद्घाटन में शामिल नहीं होगी कांग्रेस, अब इन दलों ने भी किया इनकार!

Ayodhya Ram Mandir: राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा का न्यौता ठुकराने वाली कांग्रेस अकेली पार्टी नहीं है. विपक्षी गंठबंधन के सहयोगियों में से सीपीआई(एम) पहला ऐसा दल था, जिसने कार्यक्रम में शामिल न होने की सबसे पहले घोषणा की थी

Updated on: 11 Jan 2024, 06:05 AM

New Delhi:

Ayodhya Ram Mandir: कांग्रेस ने अयोध्या में 22 जनवरी को होने वाले राम मंदिर उद्धाटन कार्यक्रम में शामिल होने से इनकार कर दिया है. कांग्रेस ने इसको बीजेपी और आरएसएस का इवेंट बताया है. श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट की तरफ से कांग्रेस नेता सोनिया गांधी, मल्लिकार्जुन खड़गे और अधीर रंजन चौधरी को राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा का निमंत्रण भेजा गया था, जिसको कांग्रेस ने एक अधूरे मंदिर का उद्धाटन कहकर शामिल होने से मना कर दिया. 

राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा का न्यौता ठुकराने वाली कांग्रेस अकेली पार्टी नहीं

राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा का न्यौता ठुकराने वाली कांग्रेस अकेली पार्टी नहीं है. विपक्षी गंठबंधन के सहयोगियों में से सीपीआई(एम) पहला ऐसा दल था, जिसने कार्यक्रम में शामिल न होने की सबसे पहले घोषणा की थी. ट्रस्ट से निमंत्रण मिलने के बाद सीपीआई(एम) के महासचिव सीताराम येचुरी ने राम मंदिर उद्घाटन कार्यक्रम में शामिल होने से साफ इनकार कर दिया था. अब कांग्रेस के निमंत्रण अस्वीकार करने पर टीएमसी और आरजेडी समेत इंडिया गठबंधन के अन्य दलों ने भी अयोध्या कार्यक्रम से दूर रहने का संकेत दिया है. कांग्रेस का कहना है कि धर्म एक बहुत निजी मामला है, लेकिन राम मंदिर बीजेपी और आरएसएस का एक राजनीतिक प्रोजेक्ट है, जिसको लोकसभा चुनाव 2024 को लेकर तैयार किया गया है. 

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धर्म एक निजी मामला

राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम में शामिल न होने की घोषणा करते हुए कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने कहा कि देश में लाखों-करोड़ों लोग भगवान राम को पूजते हैं. धर्म एक निजी मामला है. लेकिन बीजेपी और आरएसएस ने अयोध्या में राम मंदिर के रूप में एक राजनीतिक प्रोजेक्ट तैयार किया है. यही वजह है कि लोकसभा चुनाव 2024 में राजनीतिक फायदा लेने के लिए बीजेपी और आरएसएस अधूरे मंदिर का उद्घाटन करने को तैयार हैं.  कांग्रेस नेता कहा कि राम मंदिर को लेकर 2019 में आए सुप्रीम कोर्ट के फैसले और करोड़ों रामभक्तों की भावनाओं का सम्मान करते हुए मल्लिकार्जुन खड़गे, सोनिया गांधी और अधीर रंजन चौधरी ने सम्मानपूर्वक निमंत्रण अस्वीकार कर दिया है. 

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इन नेताओं ने भी किया इनकार

टीएमसी सूत्रों की मानें तो पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी भी उद्घाटन कार्यक्रम में शामिल नहीं होंगी. सीएम ममता बनर्जी ने मंगलवार को लोकसभा चुनाव 2024 से पहले मंदिर निर्माण और उद्घाटन को नौटंकी बताकर बीजेपी की आलोचना की थी. वहीं, आरजेडी के राष्ट्रीय प्रवक्ता सुबोध कुमार महता ने कहा कि इस मामले में कांग्रेस की लाइन का समर्थन करते हैं. डीएमके प्रवक्ता टी के एस इलांगोवन ने पार्टी का रुख साफ करते हुए कहा कि पार्टी इसमें भाग नहीं लेगी, हालांकि यह स्पष्ट नहीं है कि उसके नेतृत्व को 22 जनवरी के कार्यक्रम के लिए आमंत्रित किया गया है या नहीं. हालांकि राम मंदिर उद्घाटन में शामिल होने के लेकर आम आदमी पार्टी की तरफ से अभी तक कोई बयान नहीं आया है. सीपीआई राष्ट्रीय महासचिव डी राजा ने कहा कि उनको ईमेल से राम मंदिर उद्घाटन का निमंत्रण मिला है, लेकिन चाहे जो हो, हम नहीं जाएंगे. बीएसपी चीफ मायावती पहले ही कार्यक्रम में शामिल न होने का संकेत दे चुकी हैं. हालांकि उनका रुख अभी पूरी तरह से साफ नहीं हुआ है.