बाबरी विध्वंस मामले में सीबीआई की स्पेशल कोर्ट से बीजेपी के वरिष्ठ नेता लाल कृष्ण आडवाणी, उमा भारती और मुरली मनोहर जोशी को बड़ी राहत मिली है। कोर्ट ने तीनों नेताओं को व्यक्तिगत तौर पर सुनवाई के दौरान कोर्ट में पेश होने से छूट दे दी है।
30 मई को केस की सुनवाई के दौरान स्पेशल सीबीआई कोर्ट ने बाबरी मस्जिद विध्वंस मामले में बीजेपी (भारतीय जनता पार्टी) के वरिष्ठ नेता लाल कृष्ण आडवाणी, मुरली मनोहर जोशी और उमा भारती समेत सभी 12 आरोपियों के खिलाफ आरोप तय कर दिया था।
इससे पहले सीबीआई कोर्ट ने आडवाणी, मुरली मनोहर जोशी, उमा भारती और अन्य तीन को 20 हजार रुपये के मुचलके पर जमानत दी थी। जबकि छह अन्य आरोपी इस मामले में पहले से ही जमानत पर हैं।
अब इन सभी आरोपियों के खिलाफ आईपीसी की धारा 120बी (आपराधिक साजिश) 153 (दंगा भड़काना), 153A (दो समुदायों के बीच नफरत फैसला), 295 (गलत मकसद से धार्मिक ढांचे को नुकसान पहुंचाना), 295A (धार्मिक भावनाओं को भड़काना) और 505 (भाषण के जरिये नफरत फैलाना) के तहत मुकदमा चलेगा।
अदालत ने इनके खिलाफ भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 120बी (आपराधिक साजिश) के तहत आरोप तय किया है। आरोपियों के खिलाफ
1.आईपीसी की धारा 153 (दंगों के लिए उकसाना)
2.धारा 153 ए (विभिन्न वर्गो के बीच कटुता पैदा करना)
3. धारा 295 (किसी धार्मिक स्थल को तोड़ना, गिरना और वहां पर अन्य धार्मिक स्थल को स्थापित करने की मंशा)
4.धारा 295 ए (धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचना) और
5. धारा 505 (सार्वजनिक शांति भंग करने या विद्रोह कराने की मंशा से गलत बयानी करना, अफवाह आदि फैलाना ) के तहत मुकदमा चलेगा।
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इन धाराओं में दोष सिद्ध होने पर आरोपियों को अधिकतम पांच साल की सजा हो सकती है।
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HIGHLIGHTS
- बाबरी विध्वंस मामले में आडवाणी, मुरली मनोहर जोशी और उमा भारती को बड़ी राहत
- सीबीआई की स्पेशल कोर्ट ने तीनों नेताओं को व्यक्तिगत पेशी से छूट दे दी है
Source : News Nation Bureau