बिहार में आज से नई विधानसभा का सत्र शुरू हो गया है. सत्र के पहले दिन सभी नए विधायकों ने शपथ ली. लेकिन शपथ ग्रहण AIMIM के विधायक अख्तरुल इमान की वजह से सुर्खियों में आ गया. अख्तरुल इमान ने शपथ पत्र में लिखे ‘हिन्दुस्तान’ शब्द को बोलने से इनकार किया और उसकी जगह ‘भारत’ का इस्तेमाल किया.
अख्तरुल इमान के इस कदम को लेकर सुप्रीम कोर्ट के वकील ज्ञानंत सिंह का कहना है कि देश का संविधान देश के सिर्फ दो नामों (भारत और इंडिया) को मान्यता देता है. उन्होंने कहा कि सांसद और विधायक के शपथ को जो फॉर्मेट संविधान में है, वो सिर्फ हिंदी या इंगलिश में ही है. यहां विवाद उर्दू ट्रांसलेशन को लेकर है. यानि विधायक उर्दू में भारत की जगह हिंदुस्तान शब्द के इस्तेमाल पर सवाल उठा सकते है.
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संविधान के जानकारों का मानना है कि सुप्रीम कोर्ट का ऐसे मामलों में उदार रवैया रहा है. एक बार केरल के कुछ विधायकों ने शपथ में God के बजाए अल्लाह शब्द का इस्तेमाल किया तो मामला SC आया. लेकिन SC ने God का अनुवाद अल्लाह मानते हुए विधायको की शपथ रद्द करने से इंकार कर दिया.
कुल मिलाकर आशय ये है कि AIMIM विधायक द्वारा 'हिंदुस्तान की बजाए 'भारत' शब्द के इस्तेमाल से उनकी शपथ की वैधता पर सवैंधानिक सवाल उठेंगे, ऐसा नहीं लगता.
बता दें कि ओवैसी ने पिछली बार संसद में उर्दू में जो सदस्यता मि शपथ पढ़ी, उसमे भी 'भारत' के आईन ( भारत के संविधान) शब्द का ही इस्तेमाल किया था.