बिहार (Bihar) में अपराधी बेलगाम होते जा रहे हैं. प्रशासन और सरकार दोनों इनके आगे बेबस नजर आ रहे हैं. बिहार के उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी (Sushil Modi) का बयान तो कुछ ऐसा ही इशारा करती नजर आ रही है. मुजफ्फरपुर में दिनदहाड़े रविवार को पूर्व मेयर और उनके ड्राइवर को अपराधियों ने गोली से छलनी कर दिया. जिसके बाद सोमवार को राज्य के डिप्टी सीएम सुशील मोदी ने अपराधियों के सामने हाथ जोड़कर अपील करते नजर आए.
रविवार को गया में एक सभा को संबोधित करते हुए सुशील कुमार मोदी ने कहा, 'मैं अपराधियों से हाथ जोड़कर अपील करता हूं कि कम से कम पितृपक्ष में ये काम ना करें. बाकी दिन तो आप कोई मना करे न करे कुछ न कुछ करते रहते हैं और पुलिस वाले लगे रहते हैं. लेकिन कम से कम ये 15-16 दिन ये जो धार्मिक उत्सव है इस उत्सव में थोड़ा कोई एक काम ऐसा न करिए जिससे बिहार की प्रतिष्ठा गया जी की प्रतिष्ठा आने वाले लोगों को कोई शिकायत करने का मौका मिले.'
गौरतलब है कि 2018 के आंकड़े बताते है कि रेप और मर्डर जैसे जघन्य अपराध बढ़े हैं. ऐसे में सवाल यह है कि अपराध पर लगाम लगाने के बदले अपराधियों के सामने हाथ जोड़ना कितना जायज है ? क्या बिहार सरकार इतना कमजोर हो चुकी है कि उसे अपराधियों से अपराध नहीं करने के लिए आग्रह करना पड़ रहा है ?
और पढ़ें : सेक्स सीडी कांड : छत्तीसगढ़ कांग्रेस अध्यक्ष भूपेश बघेल को 8 अक्टूबर तक भेजा गया जेल
Source : News Nation Bureau