सरकारी बाल देखभाल संस्थाओं (सीसीआई) में रहने वाले बच्चों को विशेषज्ञों द्वारा देखभाल प्रदान करने की दृष्टि से देशभर में महिला एवं बाल विकास मंत्रालय ( Ministry of Women and Child Development ) ने इंडियन एकेडमी ऑफ पीडियाट्रिक्स ( आईएपी ) को साथ जोड़ा है. 2000 से अधिक सीसीआई के हजारों बच्चे इस सेवा के माध्यम से लाभान्वित होंगे. केयर-टेकर्स/चाइल्ड प्रोटेक्शन ऑफिसर देश के दूरस्थ कोनों से भी बाल रोग विशेषज्ञों द्वारा इस टेलीमेडिसिन सेवा का लाभ सप्ताह में 6 दिन ले सकेंगे. केंद्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्री स्मृति ईरानी ने ट्वीट्स की एक श्रृंखला में उन्होंने बताया, यह बाल संरक्षण सेवाओं के लिए योजना के तहत बच्चों को प्रदान की जाने वाली चिकित्सा देखभाल के अतिरिक्त होगा.
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आईएपी के सदस्यों का मजबूत नेटवर्क है
एक अन्य ट्वीट में ईरानी ( Smriti Irani ) ने लिखा, वर्तमान में विशेषज्ञों की टीमें, जिनके पास 30,000 इंडियन एकेडमी ऑफ पीडियाट्रिक्स ( आईएपी ) के सदस्यों का मजबूत नेटवर्क है, कमजोर बच्चों को सेवाएं देने के लिए सेंट्रल, जोनल, राज्य और शहरी स्तर पर गठित किए जा रहे हैं. हर सरकारी या सहायता प्राप्त सीसीआई में एक विशेषज्ञ होगा जो आईएपी द्वारा उपलब्ध करवाया जाएगा.
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विशेषज्ञ चिकित्सा परामर्श सिर्फ एक फोन कॉल की दूरी पर होगा
इंडियन एकेडमी ऑफ पीडियाट्रिक्स ( Indian Academy of Pediatrics ) और उसके सदस्यों का कमजोर बच्चों को अपनी सेवाएं देने के लिए धन्यवाद करते हुए मंत्री ने ट्वीट किया, उनकी प्रतिबद्धता और भारत सरकार के दृढ़ प्रयास से सरकारी बाल देखभाल केंद्रों में रहने वाले बच्चों के लिए विशेषज्ञ चिकित्सा परामर्श ( Specialist medical consultation ) सिर्फ एक फोन कॉल की दूरी पर होगा.
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HIGHLIGHTS
- सरकारी संस्थानों में बच्चों की विशेषज्ञों से देखभाल की योजना बना रहा केंद्र
- देशभर में महिला एवं बाल विकास मंत्रालय ने इंडियन एकेडमी ऑफ पीडियाट्रिक्स को साथ जोड़ा है
- 2000 से अधिक सीसीआई के हजारों बच्चे इस सेवा के माध्यम से लाभान्वित होंगे