चुमार में चीन ने तीसरी बार की घुसपैठ की कोशिश, सेना ने मंसूबों को किया नाकाम

लद्दाख के चुमार में मंगलवार को चीन ने एक बार घुसपैठ की कोशिश की. हालांकि, इंडियन आर्मी ने चीन के मंसूबों को नाकाम कर दिया. सूत्रों के अनुसार, चीनी सेना 7 से 8 बख्तरबंद गाड़ियों के साथ थी.

author-image
Ravindra Singh
एडिट
New Update
india china standoff

भारत-चीन विवाद( Photo Credit : फाइल फोटो)

Advertisment

लद्दाख के चुमार में मंगलवार को चीन ने एक बार घुसपैठ की कोशिश की. हालांकि, इंडियन आर्मी ने चीन के मंसूबों को नाकाम कर दिया. सूत्रों के अनुसार, चीनी सेना 7 से 8 बख्तरबंद गाड़ियों के साथ थी. आपको बता दें कि चीनी सेना ने 29 और 30 अगस्त की रात पूर्वी लद्दाख में उकसावे की कार्रवाई करते हुए पैंगोंग झील के दक्षिण में एकतरफा तरीके से यथास्थिति बदलने का प्रयास किया था, लेकिन भारतीय सैनिकों ने उसे भी नाकाम कर दिया. इसके बाद 31 अगस्त को भी चीनी सेना ने घुसपैठ का प्रयास किया था.

उन बातों की पूर्ण अनदेखी हुई जिन पर पहले सहमति बनी थी : भारत ने पैंगोंग सो पर चीनी कार्रवाई पर कहा

भारत ने मंगलवार को कहा कि चीन का पूर्वी लद्दाख में पैंगोंग सो के दक्षिणी तटीय इलाके में यथास्थिति बदलने का ताजा प्रयास उन बातों की पूर्ण अनदेखी है जिन पर पहले दोनों देशों के बीच सहमति बनी थी. विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अनुराग श्रीवास्तव ने कहा कि चीनी पक्ष ने उन बातों की अनदेखी की जिन पर पहले सहमति बनी थी और 29 अगस्त एवं 30 अगस्त देर रात को उकसावे वाली सैन्य कार्रवाई के जरिये दक्षिणी तटीय इलाकों में यथास्थिति को बदलने का प्रयास किया.

इस मुद्दे पर मीडिया के सवाल के जवाब में विदेश मंत्रालय ने कहा कि जैसा कि भारतीय सेना ने सोमवार को बताया कि भारतीय पक्ष ने अपनी क्षेत्रीय अखंडता एवं अपने हितों की रक्षा के लिये वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर चीन की उकसावे वाली कार्रवाई का जवाब दिया और उचित रक्षात्मक कदम उठाए.

श्रीवास्तव ने कहा कि चीनी पक्ष ने सोमवार को एक बार फिर उकसावे वाली कार्रवाई की जब स्थिति सामान्य करने के लिए कमांडर चर्चा कर रहे थे. उन्होंने कहा कि समय पर की गई रक्षात्मक कार्रवाई के कारण भारतीय पक्ष एकतरफा ढंग से यथास्थिति बदलने के प्रयास को रोकने में सफल रहे.

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा कि साल की शुरुआत से ही वास्तविक नियंत्रण रेखा पर चीनी पक्ष का व्यवहार और कार्रवाई स्पष्ट रूप से द्विपक्षीय समझौतों एवं प्रोटोकाल का ‘स्पष्ट उल्लंघन’ है जो दोनों देशों के बीच सीमा पर शांति स्थापना सुनिश्चित करने के लिये हुई थी.

उन्होंने कहा कि ऐसी कार्रवाई दोनों देशों के विदेश मंत्रियों और विशेष प्रतिनिधियों के बीच बनी सहमति की भी पूर्ण अनदेखी है. उन्होंने कहा कि हमने राजनयिक और सैन्य माध्यमों से चीनी पक्ष के समक्ष हाल के उकसावे वाली और आक्रामक कार्रवाई के विषय को उठाया है और उनसे अपील की है कि वे अपने अग्रिम पंक्ति के सैनिकों को ऐसी उकसावे वाली कार्रवाई के संबंध में अनुशासित एवं नियंत्रित रखें.

Source : News Nation Bureau

indian-army LAC India China Dispute Ladakh India China Border
Advertisment
Advertisment
Advertisment