रक्षा मंत्री निर्मला सीतारमण की अध्यक्षता में हुई रक्षा परिषद की बैठक में स्वदेश निर्मित 6 सबमरीन के निर्माण के लिए 40,000 करोड़ रुपये की परियोजना को मंजूरी दे दी. रक्षा मंत्रालय के प्रवक्ता ने बताया है कि रक्षा मंत्रालय की महत्वाकांक्षी रणनीतिक साझेदारी मॉडल के तहत यह दूसरी परियोजना है जो भारत सरकार के 'मेक इन इंडिया' कार्यक्रम को मजबूत करेगा. इससे पहले अगस्त 2018 में स्वदेश निर्मित 111 हेलीकॉप्टर के निर्माण को मंजूरी दी गई थी.
रक्षा खरीद परिषद (डीएसी) ने सेना के लिए 5,000 मिलान 2टी एंटी टैंक गाइडेड मिसाइल के खरीद की भी मंजूरी दी. बता दें कि इन स्वदेश निर्मित सबमरीन के शामिल होने के बाद भारत की समुद्री ताकत बढ़ेगी.
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता के मुताबिक यह निर्णय प्रोजक्ट 75 इंडिया का हिस्सा है. यह परियोजना रणनीतिक साझेदारी मॉडल के तहत पूरी की जाएगी जो विदेशी रक्षा निर्माताओं के साथ मिलकर भारत में चुनिंदा सैन्य प्लेटफॉर्म बनाने के लिए निजी फर्म को जिम्मेदारी देने की व्यवस्था करती है.
डीएसी की बैठक में रक्षा प्रबंध प्रणाली में संशोधन के प्रस्ताव को भी मंजूरी मिलीज जिससे इसे उद्योग अनुकूल बनाया जाएगा और रक्षा क्षेत्र में ईज ऑफ डूइंग बिजनेस को बढ़ावा मिलेगा.
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सबमरीन नौसेना के लिए काफी महत्वपूर्ण हैं जिससे सामुद्रिक क्षेत्र में प्रभावी तरीके से गश्ती करने में मदद मिलेगी. वहीं फ्रांस निर्मित एंटी टैंक गाइडेड मिसाइलें सेना में इसकी कमी को पूरा करने में मदद करेगी. आगे की जरूरतों के लिए भारतीय सेना डीआरडीओ द्वारा बनाए गए मिसाइलें हासिल कर सकती है.
Source : News Nation Bureau