सरकार की मोदी सरकार अगले साल से सबको ई-पासपोर्ट (E passport) जारी करने की तैयारी में है. इन ई-पासपोर्ट पर इलेक्ट्रॉनिक माइक्रोप्रोसेसर चिप लगी होगी, जिससे फर्जी पासपोर्ट बनाने पर पूरी तरह से रोक लग जाएगी. सरकारी अधिकारियों और राजनयिकों के लिए 20 हजार ई-पासपोर्ट जारी हो चुके हैं. अब सरकार अगले साल से पासपोर्ट के लिए आवेदन करने वाले भारतीय नागरिकों ई-पासपोर्ट उपलब्ध करवाएगी.
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एक अंग्रेजी अखबार की खबर के अनुसार, इलेक्ट्रॉनिक माइक्रोप्रोसेसर चिप लगे ई-पासपोर्ट से फर्जी पासपोर्ट नहीं बन सकेगा. इसके अलावा इमिग्रेशन की प्रक्रिया भी तेज हो जाएगी. ई-पासपोर्ट बनाने के लिए सरकार आईटी इन्फ्रास्ट्रक्चर कंपनी का चुनाव करने जा रही है. चयनित एजेंसी इसके लिए एक खास यूनिट बनाएगी, जो एक घंटे के अंदर 10 से 20 हजार पर्सनलाइज्ड ई-पासपोर्ट बनाने के लिए प्रोससिंग करेगी.
खबर के अनुसार, ई-पासपोर्ट से संबंधित डेटा सेंटरों को दिल्ली और चेन्नई में स्थापित किया जाएगा. अभी हर घंटे 10 हजार ई-पासपोर्ट जारी करने की तैयारी है. लेकिन बाद में इसे बढ़ाकर 50 हजार तक ले जाने की योजना है. बताया जा रहा है कि जरूरत पड़ने पर इसे हर घंटे 20 हजार से बढ़ाकर एक लाख तक भी किया जा सकता है. ई-पासपोर्ट से फर्जी पासपोर्ट की समस्या से मुक्ति मिल जाएगी.
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देश में अब तक जितने भी ई-पासपोर्ट जारी किए गए हैं, वे सभी विदेश मंत्रालय मुख्यालय के सीपीवी डिवीजन से जारी हुए हैं. जो ज्यादातर सरकारी अधिकारियों और राजनयिकों के लिए हैं. लेकिन अब देश के सभी 36 पासपोर्ट दफ्तर भी ई-पासपोर्ट जारी कर सकेंगे. सरकार की ओर से ई-पासपोर्ट बनाने की पूरी तैयारी कर ली गई है.
विदेश मंत्रालय के साथ मिलकर नेशनल इनफॉरमेटिक्स सेंटर इस पर काम करेगा. नेशनल इनफॉरमेटिक्स सेंटर की ओर से विदेश मंत्रालय से आईटी इन्फ्रास्ट्रक्चर और सॉल्यूशन एजेंसी को चयनित करने को कहा गया है, ताकि ई-पासपोर्ट बनाने की प्रक्रिया में तेजी लाई जा सके.
Source : News Nation Bureau