तेलंगाना विधानसभा में सीएए विरोधी प्रस्ताव लाने की आलोचना करते हुए केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने मंगलवार को कहा कि के चंद्रशेखर राव की सरकार ‘तुच्छ राजनीति’ में शामिल लगती है और वह संभवत: एआईएमआईएम के दबाव में अल्पसंख्यकों का तुष्टिकरण कर रही है. गोयल ने एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी पर धार्मिक आधार पर राजनीति करने और भारतीय समाज को बांटने की कोशिश में शामिल होने का आरोप लगाया. रेल मंत्री ने यहां पत्रकारों से कहा, संघीय ढांचे में, राज्यों को राष्ट्रीय कानूनों को लागू करना होता है और मैं तेलंगाना सरकार से आग्रह करता हूं कि तुच्छ राजनीतिक आधारों या तुष्टीकरण आधारों पर मुद्दे का राजनीतिकरण नहीं करें.
मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव के नेतृत्व वाले राज्य के मंत्रिमंडल ने संशोधित नागरिकता कानून (सीएए) के खिलाफ एक प्रस्ताव विधानसभा से पारित करने का निर्णय किया और केंद्र से इस संशोधित कानून को रद्द करने का आग्रह किया. गोयल ने कांग्रेस नेता और वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल के हवाले से कहा कि कोई भी राज्य सीएए को लागू करने से इनकार नहीं कर सकता है क्योंकि संसद पहले ही इसे पारित कर चुकी है. उन्होंने कहा, दुर्भाग्य से, मुझे लगता है कि चंद्रशेखर राव जी की सरकार संभवतः हैदराबाद के सांसद श्री ओवैसी के दबाव में केवल तुच्छ राजनीति और अल्पसंख्यकों के तुष्टिकरण में लिप्त है. गोयल ने कहा, यह बहुत ही दुर्भाग्यपूर्ण है कि तेलंगाना सरकार ओवैसी के निर्देशों पर काम कर रही है, जो स्पष्ट रूप से धर्म के आधार पर राजनीति करने में शामिल हैं, भारतीय समाज को धार्मिक आधार पर बांटने की कोशिश कर रहे हैं.
उन्होंने कहा कि सीएए किसी भी धर्म के खिलाफ नहीं हैं और यह किसी की भी नागरिकता लेने के लिए नहीं है. उन्होंने आरोप लगाया कि ओवैसी और टीआरएस लोगों को गुमराह कर रहे हैं और राजनीतिक कारणों से लोगों में डर पैदा कर रहे हैं. केंद्रीय मंत्री ने मुस्लिम आरक्षण चार से बढ़ाकर 12 फीसदी करने का झूठा वादा कर धार्मिक आधार पर तेलंगाना को बांटने का सत्ताधारी टीआरएस और ओवैसी पर आरोप लगाया. गोयल ने कहा कि ‘झूठे आरक्षण’ को उच्च न्यायालय ने रद्द कर दिया था और मामला अब भी शीर्ष अदालत में चल रहा है. केंद्रीय मंत्री ने कहा कि उन्हें तब खुशी हुई थी जब दिल्ली में हाल में हुए एक कार्यक्रम में तेलंगाना के मंत्री के टी रामा राव ने केंद्र और राज्य के साथ मिलकर काम करने के बारे में अपनी बात रखी थी.
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गोयल ने कहा, लेकिन यहां, 16 फरवरी को मंत्रिमंडल ने एक आधारहीन प्रस्ताव पारित किया है. मैं चाहूंगा कि सरकार इसे वापस ले. मंत्रिमंडल की बैठक में ऐसा महसूस किया गया कि सीएए नागरिकता देने में धर्म के आधार पर भेदभाव करता है और संविधान में परिकल्पित धर्मनिरपेक्षता को खतरे में डालता है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा हरी झंडी दिखा कर रवाना की गई वाराणसी-इंदौर ट्रेन में एक सीट भगवान के लिए आवंटित करने को लेकर ओवैसी के कथित ट्वीट को लेकर किए गए सवाल पर गोयल ने कहा कि उनका मानना है कि इस देश के लोग उनकी टिप्पणियों में यकीन नहीं करते हैं क्योंकि उनमें से 99 फीसदी आधारहीन होती हैं.
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उन्होंने कहा, हो सकता है, यह एक तरह से समाज में लोगों को गुमराह करने और लोगों में दरार पैदा करने के लिए ओवैसी साब की कोशिश हो. गोयल ने कहा कि महाकाल एक्सप्रेस (मोदी द्वारा हरी झंडी दिखाने के बाद) रवाना हुई थी और यह जनता के लिए यात्रा करने के लिए नहीं थी क्योंकि नियमित ट्रेन 20 फरवरी से जनता के लिए चलेगी. उन्होंने कहा कि न तो अतीत में और न ही भविष्य में धर्म के आधार पर ट्रेनों में किसी भी तरह का आरक्षण नहीं होगा. इससे पहले, गोयल ने यहां सिकंदराबाद रेलवे स्टेशन पर विभिन्न विकास परियोजनाओं को शुरू किया था.