पीएमओ राज्यमंत्री जितेन्द्र सिंह ने पुष्टि की है कि कश्मीर में अलगाववादियों को बढ़ावा देने के लिए पाकिस्तान की धरती से फंडिंग की जा रही है। उन्होंने कहा कि सरकार अब इस बारे में निर्णायक फैसला लेने जा रही है।
बता दें कि एनआईए ने इनके खिलाफ शुक्रवार को मामला दर्ज किया और प्रिलिमिनरी इन्क्वायरी शुरू कर दी। बतया जा रहा है कि जम्मू-कश्मीर में पत्थरबाजों को आतंकियों की तरफ से फंडिंग की जा रही है।
इतना ही नहीं एनआईए लश्कर-ए-तैयबा के अध्यक्ष हाफिज सईद और कट्टरपंथी कश्मीरी अलगाववादी नेता सैयद अली शाह गिलानी की भूमिका की भी जांच कर रही है।
दरअसल, सैयद अली शाह गिलानी के नेतृत्व वाले धड़े के सदस्य नईम खान ने खुलासा किया था कि गिलानी समेत अन्य अलगाववादियों ने कश्मीर घाटी में आतंकी गतिविधियों को अंजाम देने के लिए पाकिस्तान स्थित आतंकवादी संगठन लश्कर-ए-तैयबा से पैसे लिए।
शुरुआती जांच में अन्य नाम फारूक अहमद डार उर्फ बिट्टा कराटे और तहरीक-ए-हुर्रियत के गाजी जावेद बाबा के हैं।
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कश्मीर के अलगाववादी संगठन हुर्रियत के 4 नेताओं पर हिंसा फैलाने के लिए लश्कर-ए-तैयबा से पैसा लेने का आरोप लगा है। इन नेताओं में सैयद अली शाह गिलानी भी शामिल हैं।
लश्कर पाकिस्तान समर्थित आतंकी संगठन है। इसका चीफ हाफिज सईद है जो 26/11 मुंबई आतंकी हमलों का मास्टरमाइंड है।
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Source : News Nation Bureau