वित्त मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने शुक्रवार को बताया कि केंद्र सरकार का लक्ष्य चालू वित्त वर्ष के दौरान हिंदुस्तान जिंक लिमिटेड (एचजेडएल) से प्राप्त आय की पहली किश्त को पूरा करना है. इससे सरकार को चालू वित्त वर्ष में 65 हजार करोड़ रुपये के विनिवेश लक्ष्य को हासिल करने में मदद मिलेगी.
सीआईआई द्वारा आयोजित एक शिखर सम्मेलन में निवेश और सार्वजनिक संपत्ति प्रबंधन विभाग (डीआईपीएएम) के सचिव तुहिन कांता पांडे ने कहा कि सरकार हिंदुस्तान जिंक के लिए ऑफर फॉर सेल (ओएफएस) पर काम कर रही है. तुहिन कांता पांडे ने संकेत दिया कि इस वित्त वर्ष में कुछ हिस्सेदारी कमजोर हो सकती है. वहीं आईडीबीआई बैंक और कॉनकोर की हिस्सेदारी की बिक्री में वक्त लगेगा और यह इस वर्ष पूरी नहीं हो सकती है.
मौजूदा मार्केट कैप पर एचजेडएल में सरकार की हिस्सेदारी करीब 35,000 करोड़ रुपये है. हालांकि, हिस्सेदारी की बिक्री किश्तों में होगी, इसलिए केंद्र सरकार को अनुमानित प्राप्तियों का कुछ हिस्सा चालू वित्त वर्ष में ही मिलने की संभावना है. रिपोर्ट के अनुसार, निवेश और सार्वजनिक संपत्ति प्रबंधन विभाग (डीआईपीएएस) ने अब तक हिस्सेदारी बिक्री और लाभांश से 62 हजार करोड़ रुपये जुटाए हैं.
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Source : IANS