गुजरात चुनाव के दूसरे मतदान के पहले दो टीवी चैनलों को इंटरव्यू देने के मामले में चुनाव आयोग ने कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी को दिया कारण बताओ नोटिस वापस ले लिया है। यह नोटिस आचार संहिता के उल्लंघन करने के मामले में राहुल को दिया गया था।
बता दें कि आयोग ने राहुल गांधी को 18 दिसंबर तक का समय देकर यह जवाब मांगा था कि आखिर चुनाव आचार संहिता के दौरान इंटरव्यू देने पर उनके खिलाफ कार्रवाई क्यों न की जाए? इस दौरान आयोग ने कहा था कि अगर संतोषजनक जवाब नहीं मिलेगा तो कार्रवाई की जा सकती है।
चुनाव आयोग ने कांग्रेस को एक चिट्ठी लिखकर इस बात की जानकारी दी है। आयोग ने लिखा, '13 दिसंबर को कांग्रेस के स्टार कैम्पेनर को जारी किया गया नोटिस वापस लिया जाता है।' इस लेटर में आयोग ने कांग्रेस को आचार संहिता से संबंधित कुछ सुझाव भी दिए हैं।
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आयोग ने लिखा है कि मतदान से पहले प्रतिबंधित 48 घंटे के दौरान चुनाव संबंधी किसी बातों का जिक्र न करें। आयोग ने कहा, 'नोटिस जारी करने और कांग्रेस प्रतिनिधियों से चर्चा के बाद इस मामले की जांच की गई है।'
आयोग ने कहा, 'चुनाव आयोग का मानना है कि डिजिटल और इलेक्ट्रॉनिक मीडिया बृहत विस्तार के कारण आचार संहिता, प्रतिनिधित्व कानून और संबंधित प्रावधानों पर फिर से विचार की जरूरत है ताकि जो स्थितियां पैदा हुईं है वह फिर न हो।'
बता दें कि बुधवार को गुजरात विधानसभा चुनाव के दूसरे चरण मतदान के पहले प्रचार खत्म होने के बाद राहुल गांधी ने दो टीवी चैनलों को इंटरव्यू दिया था। इस मामले में बीजेपी ने राहुल वोटर्स को प्रभावित करने का आरोप लगाया था।
इस मामले में राहुल गांधी के खिलाफ चुनाव आयोग आचार संहिता उल्लंघन के मामले में एक कारण बताओ नोटिस जारी किया था।
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Source : News Nation Bureau